रुद्रपुर: 28 श्रमिकों की बहाली न होने पर महिलाएं हुई मुखर

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Published By Bhupesh Kanaujia
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रुद्रपुर, अमृत विचार। जिला प्रशासन की मध्यस्थता में इंटरार्क कंपनी प्रबंधन व यूनियन प्रतिनिधियों के मध्य हुए समझौते से मुकरने पर इंटरार्क श्रमिकों की पत्नियां मुखर हो गई हैं। इसके विरोध में उन्होंने कलक्ट्रेट परिसर में प्रदर्शन किया।

साथ ही 700 महिलाओं ने हस्ताक्षरयुक्त ज्ञापन जिलाधिकारी को सौंपकर पूर्व में हुए समझौते को लागू करने की मांग उठायी। जल्द मांग पूरी नहीं होने पर महिलाओं ने 7 मई को अंबेडकर पार्क से डीएम आवास तक पदयात्रा निकालने का ऐलान किया है।

सोमवार को कलक्ट्रेट पहुंची महिलाओं ने कहा कि 15 दिसंबर 2022 को एडीएम, एसपी और एएलसी की मध्यस्थता में कंपनी प्रबंधन के साथ ही सभी निलंबित और बर्खास्त 64 श्रमिकों की कार्य बहाली करने और 1700 रुपये वेतन वृद्धि करने की मांग को लेकर लिखित में समझौता हुआ था।

समझौते के तहत 28 श्रमिक तीन माह बाहर काम कर 3 अप्रैल 2023 को सिडकुल पंतनगर एवं किच्छा स्थित मूल प्लांट में ड्यूटी पर उपस्थित हुए तो उनकी गेटबंदी कर दी गई। श्रमिकों को प्रबंधन ने बताया कि उनका स्थानांतरण राज्य से बाहर कर दिया गया है। उन्होंने कहा कि श्रमिक पिछले एक महीने से कार्य बहाली को दर-दर भटक रहे हैं। किंतु उनकी कोई सुनने वाला नहीं है। उन्होंने कहा कि राज्य के मॉडल स्टैंडिंग ऑर्डर और इंटरार्क कंपनी के प्रमाणित स्थायी आदेश में भी मजदूरों के उत्तराखंड राज्य से बाहर ट्रांसफर करना प्रतिबंधित है।

बावजूद मजदूरों का उत्तराखंड राज्य से बाहर ट्रांसफर कर मनमानी की जा रही है। जिला प्रशासन भी इस मामले में मूकदर्शक बना हुआ है। उन्होंने कहा कि समझौते के तहत मजदूरों की सवैतनिक कार्य बहाली वेतन वृद्धि नहीं की गई तो 7 मई को महिलाएं, मजदूरों व क्षेत्र की जनता के साथ में अंबेडकर पार्क से जिलाधिकारी आवास तक विशाल पदयात्रा निकालने के लिए मजबूर होंगी।

साथ ही निर्णायक संघर्ष के लिए आगे बढ़ा जायेगा। इस अवसर पर जोशना शाहू, शोभा देवी, प्रतिभा देवी, नमिता देवी, संगीता देवी, निलम, विमला देवी, गीता देवी, शीतल, पुष्पा, उमा देवी, सबीता, राजकुमारी, मेधा शर्मा, निलम वर्मा, रविन्द्र कौर आदि रहीं।  

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