बरेली: अनुसूचित जनजाति के लिए हुआ बैकयार्ड पोल्ट्री फार्मिंग

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Published By Ashpreet
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बरेली, अमृत विचार। भारतीय पशुचिकित्सा अनुसंधान संस्थान में सोमवार को अनुसूचित जनजातियों के लिए विकास कार्य योजना (डीएपीएसटी) के तहत वैज्ञानिक बैकयार्ड पॉल्ट्री फार्मिंग पर पांच दिवसीय प्रशिक्षण हुआ।

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कार्यक्रम में मुख्य अतिथि संयुक्त निदेशक प्रचार शिक्षा डॉ. रूपसी तिवारी ने क्षेत्र की स्थितियों के तहत पोल्ट्री प्रबंधन के विभिन्न पहलुओं के बारे में प्रतिभागियों को जानकारी दी। उन्होंने कहा कि बैकयार्ड मुर्गी पालन में मुर्गियों को आंगन या घर के पिछवाड़े में पड़ी खाली जगह में आसानी से पाला जा सकता है।

इसमें आप देशी मुर्गियों का चयन कर अपनी आय को बढ़ा सकते हैं। प्रसार शिक्षा विभाग के प्रमुख डॉ. एचआर मीणा ने जनजातीय लोगों की आजीविका और पोषण सुरक्षा बढ़ाने के लिए वैज्ञानिक बैकयार्ड पोल्ट्री फार्मिंग की भूमिका और महत्व के बारे में बताया। प्रशिक्षण कार्यक्रम के समन्वयक डॉ. मदन सिंह, डा. क्षुति और अन्य मौजूद रहे।

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