पीलीभीत: वाहन स्टैंड बनाए मगर हालात नहीं सुधर पाए, बिना पार्किंग के प्रतिष्ठान...कार्रवाई का भी नहीं डर

Amrit Vichar Network
Published By Moazzam Beg
On

पीलीभीत, अमृत विचार। बिना पार्किंग के संचालित हो रहे व्यवसायिक प्रतिष्ठानों ने शहर की यातायात व्यवस्था को बेपटरी बना दिया है। हाईवे से लेकर मुख्य मार्गों पर दिन में कई बार जाम लगता है और राहगीर फंसकर परेशान होने को मजबूर हैं। 

लंबे समय से चली आ रही जाम की समस्या को दूर करने के लिए नगर पालिका की ओर से वाहन पार्किंग को जगह चिन्हित करते हुए स्टैंड के ठेके दे दिए गए, लेकिन ये प्रयास भी सुधार नहीं करा पाए हैं। अधिकतर वाहन प्रतिष्ठानों के बाहर ही बेतरतीब तरीके से पार्क किए जा रहे हैं।  जिसकी वजह से व्यवस्था बदहाल बनी हुई है। उधर, विरोध के चलते अतिक्रमण हटाओ अभियान पहले ही ठंडे बस्ते में जा चुके हैं।

शहर की सड़कों पर अतिक्रमण की भरमार है। दुकानों के आगे फुटपाथ तक सामान रखा जा रहा है।  इसके अलावा बाजार बीते कुछ समय में विकसित होता चला गया। प्रतिष्ठान तो बनकर संचालित भी होने लगे लेकिन अधिकांश प्रतिष्ठानों में पार्किंग की कोई व्यवस्था ही नहीं है। बैंक, बरात घर, होटल, रेस्टोरेंट समेत अन्य तमाम प्रतिष्ठान मुख्य मार्गों पर हैं। दिन भर ग्राहकों की भीड़ उमड़ती है, लेकिन उनके वाहन सड़क पर ही खड़े किए जाते हैं। इन्हें व्यवस्थित तरीके से खड़ा कराने पर भी कोई ध्यान नहीं दिया जाता। 

मुहिम तो कई बार छेड़ी गई, लेकिन सुधार सिर्फ दावों और कागजों में ही हो सका।  लापरवाही का खामियाजा अभी भी राहगीरों को उठाना पड़ रहा है। गांधी स्टेडियम रोड, जेपी रोड, मुख्य बाजार, लकड़ी मंडी समेत कई मुख्य मार्गों पर मंगलवार को बाजार की साप्ताहिक बंदी के बावजूद बेतरतीब वाहन खड़े रहे। नगर पालिका की ओर से कराई गई पार्किंग की व्यवस्था के बाद भी वाहन सड़कों पर ही दिखे। 

टैक्सी स्टैंड को लेकर भी हालात बदतर
अवैध तरीके से संचालित होने वाले टैक्सी स्टैंड को लेकर शासन स्तर से बीते साल सख्ती की गई थी। मुख्यमंत्री ने आदेश किए तो जिला स्तरीय अधिकारी भी दौड़-भाग कर व्यवस्था बनाने में जुटे रहे। कुछ समय तक असर दिखाई भी दिया, लेकिन अब समय गुजरने के साथ ही निरागनी की जिम्मेदारी संभालने वाले बेपरवाह हो गए। दोबारा से टैक्सी स्टैंड को लेकर हालात पुराने जैसे हो गए हैं।

नौगवां चौराहा, छतरी चौराहा, गौहनिया चौराहा पर भी सवारी ढोने के लिए वाहन मनमाने तरीके से खड़े किए जाने लगे हैं। ई-रिक्शा की बढ़ती संख्या जाम का सबब बनी हुई है। मगर उसका भी रूट तय नहीं हो सका है।

ये भी पढे़ं- Pilibhit News: लेखपाल ने पांच ग्रामीणों से ठग लिए 5.36 लाख, मांगने पर मारपीट कर धमकाया...अब लिखी गई FIR

 

संबंधित समाचार