गोंडा: ग्रामीणों संग सारस की अनोखी दोस्ती, गांव में ही रहता है और डिमांड पर करता है डांस, देखें वीडियो

ग्रामीणों के साथ ही खाता पीता और सोता भी है, दूरदराज से सारस को देखने आ रहे लोग 

गोंडा: ग्रामीणों संग सारस की अनोखी दोस्ती, गांव में ही रहता है और डिमांड पर करता है डांस, देखें वीडियो

अकबर अली/बभनजोत, गोंडा, अमृत विचार। अमेठी जिले के मंडका गांव के रहने वाले आरिफ की राजकीय पक्षी सारस से दोस्ती की कहानी तो आपको याद ही होगी कि किस तरह घायल सारस का इलाज करने वाले आरिफ से सारस की दोस्ती परवान चढ़ी थी। ठीक इसी तरह का वाकया जिले के बभनजोत ब्लाक के ग्राम पंचायत मन्नीजोत के मजरा डिवलीडीह में सामने आया है। यहां भी एक सारस पक्षी लोगों के उत्सुकता का केंद्र बना है।

यह पक्षी गांव के लोगों के बीच ही रहता है उन्हीं के साथ खाना खाता है और गांव में ही सोता भी है। यही नहीं ग्रामीणों से उसकी दोस्ती ऐसी है कि वह उनके बुलाने पर आवाज भी लगाता है और उनकी डिमांड पर डांस भी करता है। हालांकि दुर्घटना में अपना एक पंख खोने के बाद अब वह उड़ नहीं सकता। यह सारस पक्षी करीब डेढ़ साल से गांव वालों के साथ ही रह रहा है। गांव के लोगों के साथ इस सारस पक्षी की दोस्ती यहां के लोगों के लिए कौतूहल का केंद्र बनी है।

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गांव के बाहर तालाब में जख्मी हालत में मिला था सारस 

मन्नीजोत गांव के डिवलीडीह के रहने वाले कल्लू ने बताया कि करीब डेढ वर्ष पहले यह सारस पक्षी उन्हे गांव के बाहर स्थ्त तालाब के किनारे जख्मी हालत में पड़ा मिला था‌। इसके बाद वह सारस को उठाकर घर से आए‌। उसकी मरहम पट्टी की और उसे खाना खिलाया। कुछ दिन बाद वह ठीक हो गया तो वह उसे वापस तालाब पर छोड़ आए,लेकिन उनके घर पहुंचने से पहले ही सारस उड़कर उनके घर पहुंच गया।

कल्लू बताते हैं कि कई बार उन्होने सारस को तालाब पर छोड़ा लेकिन हर बार वह वापस लौट आया। एक बार उसके पंख में चोट लग गयी और उसका एक पंख क्षतिग्रस्त हो गया। तब से वह गांव में ही इंसानों के बीच रहता है। गांव के लोग से उसकी अच्छी खासी दोस्ती हो गई है। पूरा दिन वह लोगों के घरों में टहलता है और खाता पीता है‌। रात में वह गांव में ही सो जाता है। गांव के लोग भी उसे बहुत प्यार करते हैं। गांव का कोई भी व्यक्ति उसे आवाज देकर बुला लेता है तो वह उनके पास चला जाता है। यही नहीं लोगों के कहने पर यह सारस पक्षी खूब मगन होकर थिरकने भी लगता है। 

सारस को पारिवारिक सदस्य की तरह मानते है ग्रामीण 

अमृत विचार: सारस पक्षी को गांव के लोग अपने पारिवारिक सदस्य की तरह से मानते हैं। गांव के राम सुरेश ने बताया कि यह सारस काफी दिनों से हमारे बीच रह रहा है और हम लोग इसे खूब प्यार करते हैं गांव के सभी लोग इसे खिलाते पिलाते रहते हैं और इसका ध्यान भी रखते हैं। यह अपने मर्जी से गांव में घूमता रहता है।

गांव में ही एक दुकान है जब उसे भूख लगती है तो वह दुकान पर चला जाता है। वहां पर बैठे हुए गांव के लोग उसे बिस्किट, नमकीन आदि दे देते हैं और वह खा लेता है खाने के बाद वह बगीचा में चला जाता है। गांव के ही सूरज मिश्रा ने बताया यह सारस पक्षी कहीं जाता नहीं है इंसानों के बीच में रहता है और सभी लोग इसकी खाने-पीने की व्यवस्था करते रहते हैं। इस सारस पक्षी की चर्चा सुनकर दूर दराज से लोग इसे देखने भी आते हैं।

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