Lucknow News : टाइगर जिंदा है...17वां शिकार करने के बाद भूखा घूम रहा बाघ

Amrit Vichar Network
Published By Vinay Shukla
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वन विभाग ने मलिहाबाद सर्किल के दस गांव में ग्रामीणों को सतर्क रहने की दी सलाह

मलिहाबाद, अमृत विचार :  सावधान! घर से अकेले बाहर न निकलें और जंगल की तरफ बिल्कुल भी रुख न करें, क्योंकि, बाघ भूखा है। रहमानखेड़ा जंगल से सटे करीब 60 गांवों में वन विभाग ने अलर्ट जारी कर ग्रामीणों को सतर्कता बरतने की सलाह दी है। 17वां शिकार करने के बाद बाघ खाने की तलाश में इधर-उधर भटक रहा है, रोजाना बाघ के नए पगचिन्ह मिल रहे हैं।

दरअसल, रहमानखेड़ा के जंगल में करीब 60 दिन से घूम रहा बाघ वन विभाग को रोजाना चकमा देकर अपने शिकार के लिए इधर-उधर भटक रहा है। बीते 27 जनवरी को बाघ ने पड़वे का 17वां शिकार किया था। इसके बाद वह भूखा है। बुधवार को रहमान खेड़ा जोन-एक और दो में बाघ के नए पगचिन्ह मिले हैं। जिसके बाद तीनों जोन में ट्रैकिंग कार्य को मजबूत किया गया। डीएफओ सितांशु पाण्डेय के मुताबिक, बाघ के पगचिन्ह मिलने पर जोन-एक में बेलबाग के समीप एक और मचान बनाया गया है।

बाघ का डर (2)

मचान के माध्यम से डॉक्टर और विशेषज्ञों की टीम बाघ पर निगरानी कर रही है, ताकि उसे सुरक्षित रेस्क्यू किया जा सके। इसके अलावा जोन-2 और तीन के मार्गों पर मोबाइल टीम रात्रि के पहर में गश्त कर रही है। डीएफओ ने बताया कि प्राणी विशेषज्ञों और वन अफसरों आशंका जताई है कि करीब सप्ताह भर से बाघ भूखा-प्यासा भटकता रहा तो वह हमला कर सकता है। इसे ध्यान में रखते हुए वन विभाग ने बुधड़िया, अल्लूपुर, रसूलपुर, हबीबपुर, कनार, फतेहनगर, मौरा, गुलाबखेड़ा, कसमंडी, शिवदासपुर गांव रहवासियों को सतर्क रहने की हिदायत दी है। इसके साथ ही ग्राम प्रधानों और ग्रामीणों को जागरुक किया गया।

 बदली जाएगी रणनीति

 डीएफओ सितांशु पाण्डेय ने बताया कि बाघ को पकड़ने के लिए रणनीति बदली जाएगी। इसके लिए वन्यप्राणी विशेषज्ञों से मदद ले रहे हैं। कई जगह नाइट विजन कैमरे लगाए हैं। रोज उसके फुटेज खंगाले जा रहे हैं। इसके माध्यम से बाघ की गतिविधि वाले क्षेत्र को पहचानने में आसानी होगी।  बाघ की गतिविधियों पर नजर रखी जा रही है। अभी तक किसी का शिकार नहीं किया है। इसके बारे में ग्रामीणों से भी जानकारी ली गई है। चौकीदारों को जंगल में और ग्रामीणों को गांव में नजर रखने के लिए कहा है।

थका हुआ लग रहा है बाघ

वन्य प्राणी विशेषज्ञ का कहना है कि हाल में बाघ का वीडियो सामने आया था वीडियो को ध्यान से देखने पर पाया कि उसकी चाल काफी धीमी है। वीडियो में उसकी पूंछ की हरकत को देखकर लग रहा है कि वह पूरी तरह थका हुआ है। महू में घूमते-घूमते उसे चार दिन हो गए हैं। बताया कि बाघ की प्रवृत्ति है कि वह आठ से दस दिन बिना खाए रह सकता है। अब कुछ दिन बाद उसे भोजन लगेगा। ऐसे में वह मवेशियों व वन्य प्राणियों या फिर किसी व्यक्ति पर हमला कर सकता है।

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