Bareilly: एंटी करप्शन टीम की बड़ी कार्रवाई, 25 हजार की रिश्वत लेते चकबंदी लेखपाल को रंगे हाथ पकड़ा

Amrit Vichar Network
Published By Vikas Babu
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बरेली, अमृत विचार: भ्रष्टाचार निवारण संगठन (एंटी करप्शन) की टीम ने चकबंदी लेखपाल महावीर सिंह को 25 हजार रुपये की रिश्वत लेते शुक्रवार दोपहर गिरफ्तार कर लिया। उसने कृषि भूमि के नामांतरण के लिए सहायक चकबंदी अधिकारी भूरे सिंह के नाम पर रिश्वत मांगी थी। एंटी करप्शन इंस्पेक्टर बब्बन खां ने मामले में सहायक चकबंदी अधिकारी भूरे सिंह और लेखपाल के खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम समेत कई धाराओं में कोतवाली में रिपोर्ट दर्ज कराई है।

फरीदपुर क्षेत्र के गांव गजनेरा निवासी टंडन बाबू ने एंटी करप्शन टीम से शिकायत की थी कि उनकी मां कलावती का निधन हो गया था। मां कलावती की मौत के बाद गांव गजनेरा में चक संख्या 128 की कृषि भूमि को उनके और उनके भाइयों के नाम वारिसान के रूप में दर्ज कराना था। इसके लिए मुरादाबाद के थाना बिलारी के गांव जसरथपुर निवासी चकबंदी लेखपाल महावीर सिंह से संपर्क किया।

आरोप है कि महावीर सिंह ने उससे सहायक चकबंदी अधिकारी  भूरे सिंह के नाम पर 50 हजार रुपये की रिश्वत की मांग की। दो किश्तों में 50 हजार रुपये में सौदा तय हो गया। शुक्रवार दोपहर एंटी करप्शन की ट्रैप टीम प्रभारी बब्बन खान ने टीम के साथ रुपये देने के लिए उन्हें सहायक चकबंदी अधिकारी के कार्यालय में भेजा। पैसे लेते ही ट्रैप टीम ने लेखपाल को सहायक चकबंदी अधिकारी तृतीय कार्यालय गेट के पास से गिरफ्तार कर लिया। लेखपाल मौजूदा समय में चंद्रबटी बैंक्वेट हॉल के सामने सुभाषनगर क्षेत्र में रहता है।

सहायक चकबंदी अधिकारी ने कहा कि बहुत बड़ा काम है
पीड़ित के अनुसार उसने सहायक चकबंदी अधिकारी तृतीय भूरे सिंह को प्रार्थना पत्र दिया। आरोप है कि उन्हीं के पास बैठे गांव के लेखपाल महावीर सिंह की तरफ इशारा करते हुए कहा कि इनसे मिल लो काम हो जाएगा, बहुत बड़ा काम है। इसमें चारों भाईयों का सन्दर्भ भी बनेगा। लेखपाल महावीर सिंह ने कहा कि साहब से बात हो गई, काम हो जाएगा लेकिन खर्चा पानी करना पड़ेगा। पूछने पर 50 हजार रुपये की मांग की थी। गरीब होने का हवाला देने पर भी तैयार नहीं हुए। जिस पर दो बार में 25-25 हजार रुपये देने को कहा।

आरोपी सहायक चकबंदी अधिकारी चाचा-भतीजे
गिरफ्तार आरोपी महावीर सिंह ने बताया कि उसने पैसे सहायक चकबंदी अधिकारी भूरे सिंह के कहने पर लिया था। सहायक चकबंदी अधिकारी भूरे सिंह उसके ही गांव के रहने वाले हैं और रिश्ते में चाचा लगते हैं। लेखपाल की गिरफ्तारी के बाद तुरंत चकबंदी अधिकारी कमरे से फरार हो गया। शिकायतकर्ता ने बताया कि आरोपी लेखपाल महावीर सिंह उसे लगातार फोन करते थे और कहते थे कि जल्दी आ जाओ नहीं तो काम होल्ड हो जाएगा। पुलिस टीम ने आरोपी महावीर सिंह के किराये वाले मकान सुभाषनगर में पहुंच कर तलाशी ली लेकिन कुछ बरामद नहीं हुआ।

आरोपी चकबंदी लेखपाल को 25 हजार रुपये लेते गिरफ्तार किया गया है। आरोपी समेत सहायक चकबंदी अधिकारी के खिलाफ कोतवाली में नामजद रिपोर्ट दर्ज कराई गई है। आरोपी की तलाश की जा रही है। जल्द ही उसे गिरफ्तार कर लिया जाएगा- यशपाल सिंह, सीओ एंटी करप्शन।

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