MLC Election : नाम वापस लिया, वेणुरंजन भदौरिया के प्रचार के प्रश्न पर ‘साइलेंट’ डा. दिवाकर मिश्रा

Amrit Vichar Network
Published By Kanpur Digital
On

MLC Election कानपुर में शिक्षक एमएलसी चुनाव को लेकर ड. दिवाकर मिश्रा साइलेंट।

MLC Election कानपुर में वेणुरंजन भदौरिया के प्रचार के प्रश्न पर डा. दिवाकर मिश्रा साइलेंट। डा. दिवाकर मिश्रा ने कहा कि शिक्षक एमएलसी के लिए 42 साल की तपस्या भंग नहीं करूंगा।

कानपुर, अमृत विचार। भाजपा के शिक्षण संस्थान प्रकोष्ठ के प्रदेश संयोजक डा.दिवाकर मिश्रा ने कानपुर-उन्नाव-कानपुर देहात शिक्षक खंड चुनाव से अपना पर्चा वापस ले लिया है। उन्होंने भाजपा के प्रति वफादारी की बात तो कही पर शिक्षक खंड से भाजपा के एमएलसी प्रत्याशी वेणुरंजन भदौरिया के वोट मांगने के सवाल पर चुप्पी साध गए। 

डा. मिश्रा ने रुंधे स्वर में कहा कि शिक्षक एमएलसी पद के लालच में भाजपा से अलग नहीं हो सकता। पूरे 42 साल तक पार्टी की सेवा की है। खून पसीने से सींचा है। मिश्रा ने लिखित बयान भी जारी किया है जिसके मुताबिक वह 42 वर्षों से भाजपा की सेवा कर रहे हैं। उनका कहना है कि खून पसीने से पार्टी को सींचा है। अब शिक्षक एमएलसी पद के लिए उससे अलग होना संभव नहीं है। 

उन्होंने कहा कि पार्टी के प्रति अटूट निष्ठा है इसलिए उन्होंने सोमवार को कानपुर-उन्नाव-कानपुर देहात खंड शिक्षक निर्वाचन क्षेत्र से अपना नामांकन पत्र वापस ले लिया है। उन्होंने यह भी कहा कि इस अवसर पर वह उन सभी शिक्षकों के प्रति आभार व्यक्त करते हैं जो इन विपरीत परिस्थितियों में भी उनके साथ साथ खड़े रहे और सहयोग करते रहे।

दिवाकर ने बयान में इन शिक्षकों से माफी भी मांगी है। बयान में आगे दिवाकर लिखते हैं कि उनके द्वारा भाजपा से अलग होकर चुनाव लड़ने के आग्रह को वह स्वीकार नहीं कर पाए। वह भाजपा के प्रतिनिधि के रूप में पूर्व की भांति में शिक्षक बहनों भाइयों की सेवा करता रहेंगे।

भाजपा के उच्चपदस्थ सूत्रों के अनुसार कानपुर-उन्नाव-कानपुरदेहात शिक्षक खंड के प्रत्याशी के रूप में सबसे पहले कुमकुम स्वरूप का नाम चर्चा में आया था। उनके इंकार के बाद निवर्तमान एमएलसी राजबहादुर चंदेल को पार्टी ने प्रत्याशी बनाने पर चर्चा हुई। चंदेल खुद बताते हैं कि भाजपा के लोग उनसे मिले थे।

शायद उनकी बढ़ती उम्र के कारण पार्टी किसी निर्णय पर नहीं पहुंच सकी। फिर डा.दिवाकर मिश्रा को उनकी प्रत्याशिता के संकेत दिए गए। बाद में वेणुरंजन भदौरिया की प्रत्याशिता फाइनल हुई। वेणु का नाम आरएसएस के कानपुर प्रांत की तरफ से प्रस्तावित किया गया था।

संबंधित समाचार