नैनीताल: Highcourt-पूर्व विधायक कुंवर प्रणव सिंह सहित परिवार को गार्ड और निजी वाहन में हूटर बजाने की अनुमति को लेकर नोटिस और अधिकारियों से मांगा जवाब
नैनीताल, अमृत विचार। हाईकोर्ट ने राज्य सरकार की ओर से पूर्व विधायक कुंवर प्रणव सिंह चैंपियन के परिवार को नियमविरुद्ध तरीके से पांच सुरक्षा गार्ड और निजी वाहन को पायलट कार बनाकर हूटर बजाने की अनुमति देने के मामले में सुनवाई की। इस दौरान हाईकोर्ट ने गृह सचिव, डीजीपी, आईजी सुरक्षा, हरिद्वार के एसएसपी, हरिद्वार के जिलाधिकारी समेत कुंवर देब्यानी, कुंवर नरेंद्र सिंह, कुंवर दिव्यप्रताप सिंह और कुंवर प्रणव सिंह चैंपियन को नोटिस जारी कर चार सप्ताह में जवाब पेश करने के लिए कहा है।
मुख्य न्यायाधीश विपिन सांघी व न्यायमूर्ति राकेश थपलियाल की खंडपीठ के समक्ष मामले की सुनवाई हुई। हरिद्वार निवासी इमरान ने जनहित याचिका में कहा था कि खानपुर से पूर्व विधायक कुंवर प्रणव सिंह चैंपियन समेत उनके परिवार के कुल चार सदस्यों को नियमविरुद्ध तरीके से पांच सरकारी सुरक्षा गार्ड दिए गए हैं। जब वे घर से बाहर निकलते हैं तो अपनी सुरक्षा का दुरुपयोग करते हैं। बेवजह हूटर बजाते हैं। याचिकाकर्ता ने न्यायालय को बताया कि कुंवर प्रणव सिंह को कोई धमकी या थ्रेट नहीं है कि उन्हें सुरक्षा दी जाए।
कहा गया कि वर्ष 2016 में उच्च न्यायालय ने सरकार को निर्देश जारी करते हुए कहा था कि किन-किन लोगों को सुरक्षा दी जाएगी, इस पर राज्य सरकार एक कमेटी गठित करे। इस कमेटी की जांच के बाद ही सुरक्षा देने की मंजूरी दी जाए लेकिन अभी तक सरकार ने इस आदेश का पालन नहीं किया है। सिर्फ एक प्रार्थनापत्र के आधार पर सुरक्षा दी जा रही है जो सरकारी तंत्र का दुरुपयोग है।
याचिका कर्ता का कहना था कि वर्तमान में उत्तराखंड सरकार ने 197 वीआईपी लोगों को 610 गनर दिए हैं जिसमें मुख्यमंत्री, राज्यपाल ,उच्च न्यायालय के न्यायाधीश सहित सभी वीआईपी शामिल हैं। याचिका में कोर्ट से प्रार्थना की गई है कि जिन लोगों को सुरक्षा दी गई है उनकी जांच की जाए कि उन्हें किस आधार पर सुरक्षा दी गई है।
