बरेली: कड़ाके की ठंड में विश्वविद्यालय में रात में शिक्षकों का प्रदर्शन

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Published By Om Parkash chaubey
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शीतकालीन और रविवार के अवकाश के दिन परीक्षा का शिक्षक कर रहे हैं विरोध, काफी समय बाद विश्वविद्यालय में रात में हो रहा धरना, कुलपति कक्ष के सामने डटे

बरेली, अमृत विचार : शीतकालीन और रविवार के अवकाश के दिन स्नातक विषम सेमेस्टर की परीक्षा का शिक्षक विरोध कर रहे हैं। मंगलवार दोपहर से रुटा (रुहेलखंड यूनिवर्सिटी टीचर्स एसोसिएशन) के नेतृत्व में शिक्षक रुहेलखंड विश्वविद्यालय के प्रशासनिक भवन के बाहर प्रदर्शन किया और फिर कड़ाके की ठंड में रात में प्रशासनिक भवन के अंदर कुलपति कक्ष के सामने डटे हुए हैं।

रात तक शिक्षकों की मांग पर कोई निर्णय नहीं लिया गया। विश्वविद्यालय से जुड़े लोगों की मानें तो रात में काफी समय बाद प्रदर्शन हो रहा है। शिक्षकों ने प्रशासन पर हठधर्मिता का आरोप लगाया है। स्नातक विषम सेमेस्टर की परीक्षा 15 दिसंबर से शुरू हुई हैं। परीक्षा कार्यक्रम जारी होने के बाद ही शिक्षकों ने शीतकालीन अवकाश और रविवार को परीक्षा का विरोध किया था।

शिक्षकों ने विश्वविद्यालय में 7 दिसंबर को धरना दिया था तो कुलपति प्रो. केपी सिंह ने परीक्षा नियंत्रक संजीव कुमार को बदलाव के निर्देश दिए थे। इसके बाद सिर्फ 25, 26 और 27 के परीक्षा कार्यक्रम में बदलाव कर संशोधित कार्यक्रम जारी कर दिया तो शिक्षक नाराज हो गए। इसके बाद शिक्षकों ने रविवार को परीक्षा में असहयोग किया।

रूटा की ऑनलाइन बैठक में विरोध के निर्णय के अनुसार मंगलवार को रूटा और बरेली कॉलेज के शिक्षक संघ के पदाधिकारियों के साथ शिक्षक विश्वविद्यालय के प्रशासनिक भवन में दोपहर करीब 12:30 प्रदर्शन करने पहुंचे। करीब तीन घंटे के विरोध प्रदर्शन के बाद शिक्षकों की परीक्षा नियंत्रक से बात हुई। परीक्षा नियंत्रक ने कुलपति से मिलकर बदलाव की बात कही। कुलपति शहर से बाहर थे, शाम को जब वह वापस आए तो परीक्षा नियंत्रक उनसे मिले और शिक्षकों की समस्या रखी।

इसके बाद परीक्षा नियंत्रक ने शिक्षकों को बताया कि कुलपति ने बुधवार शाम को मुलाकात कर समाधान की बात कही है। इससे शिक्षकों का आक्रोश बढ़ गया और रात भर धरने का निर्णय लिया। विरोध करने वालों में रूटा के अध्यक्ष प्रो. मुकेश कुमार, महामंत्री प्रो. स्वदेश सिंह, बरेली कॉलेज शिक्षक संघ के अध्यक्ष गजेंद्र सिंह, महामंत्री प्रो. वीपी सिंह के अलावा अन्य पदाधिकारी और शिक्षक शामिल हुए। इनमें महिला शिक्षक भी हैं। इस संबंध में कुलपति और परीक्षा नियंत्रक से फोन पर संपर्क किया गया लेकिन जवाब नहीं मिला।

एक ही दिन प्रश्नपत्र होने से कार्यक्रम में बदलाव: विश्वविद्यालय ने मंगलवार को स्नातक विषम सेमेस्टर की परीक्षा का संशोधित कार्यक्रम जारी किया। जिसमें 22 दिसंबर, 4, 9 और 10 जनवरी को होने वाली परीक्षा में बदलाव किया। यह बदलाव छात्रों की परीक्षा एक ही दिन पड़ने की वजह से किया गया है।

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