बरेली: अब एनिमल बायोटेक भी पढ़ाएगा IVRI, नई शिक्षा नीति के तहत शुरू किया गया कोर्स

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Published By Vikas Babu
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तीन जनवरी को ऑल इंडिया से दस बच्चों को मिला प्रवेश

फोटो- अनुस्थापन समारोह के दौरान मौजूद कुलपति डा. त्रिवेणी दत्त व पशु जैव प्रौद्योगिकी के विद्यार्थी व शिक्षक।

बरेली, अमृत विचार: भारतीय पशु चिकित्सा अनुसंधान संस्थान (आईवीआरआई) में अब विद्यार्थी पशु प्रौद्योगिकी में बीटेक कोर्स भी कर सकेंगे। इस कोर्स में तीन जनवरी को पहले बैच में 10 विद्यार्थियों को प्रवेश मिला है। मंगलवार से कक्षाएं शुरू हो जाएंगी। सोमवार को परिसर में इन विद्यार्थियों के लिए अनुस्थापन समारोह हुआ। इस कोर्स में प्रवेश लेने वाले कई राज्यों के विद्यार्थियों को आईवीआरआई इज्जतनगर, आईवीआरआई मुक्तेश्वर, आईवीआरआई बंगलुरू के शिक्षक पढ़ाएंगे।

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अनुस्थापन कार्यक्रम में मुख्य अतिथि संस्थान निदेशक व कुलपति डाॅ. त्रिवेणी दत्त ने कहा कि नई शिक्षा नीति के अनुसार हमें बहुविषयक शिक्षा की ओर बढ़ना होगा। सम-विश्वविद्यालय द्वारा 200 से अधिक विद्यार्थी वोकेशनल और सर्टिफिकेट कोर्स में प्रशिक्षित किये जा चुके हैं। उन्होंने कहा कि संस्थान को भविष्य में स्वपोषित मोड पर कार्य करना होगा। उन्होंने भविष्य में और भी अधोस्नातक पाठ्यक्रम चलाने की बात कही।

संयुक्त निदेशक शैक्षणिक डाॅ. एसके मेंदीरत्ता ने कहा कि छात्रों को अंतिम वर्ष में दवा और टीका निमार्ण कम्पनी में प्रशिक्षण भी सिखाया जाएगा। संयुक्त निदेशक प्रसार शिक्षा डा. रूपसी तिवारी, कोर्स समन्वयक एवं प्रधान वैज्ञानिक जैव प्रौद्योगिकी विभाग डाॅ. पीके गुप्ता, पशुजन स्वास्थ्य विभाग की वरिष्ठ वैज्ञानिक डाॅ. हिमानी धांजे, पशुपोषण विभाग के प्रधान वैज्ञानिक डॉ. एसके साहा, संयुक्त निदेशक कैडराड डाॅ. केपी सिंह, संयुक्त निदेशक शोध डाॅ. एसके सिंह, रजिस्ट्रार पीके जैन, डॉ. अजय कुमार समेत अन्य लोग मौजूद रहे।

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