SP MLA Irfan Solanki: चार बार का विधायक ऐसा कृत्य नहीं कर सकता...फैसले से पहले कोर्ट में बचाव पक्ष ने दी दलील
फैसले से पहले कोर्ट में बचाव पक्ष ने दी दलील
कानपुर, अमृत विचार। आगजनी कांड में फैसला सुनाए जाने से पहले बचाव व अभियोजन पक्ष की कोर्ट में बहस हुई। बचाव पक्ष के अधिवक्ता सईद नकवी, शिवाकांत दीक्षित की ओर से इरफान सोलंकी को बेगुनाह साबित करते हुए दलील दी गई कि इरफान चार बार का विधायक है, उसके द्वारा आगजनी जैसा कृत्य किया जाना संभव नहीं है।
शुक्रवार को सपा विधायक इरफान सोलंकी, रिजवान सोलंकी, इजरायल आटेवाला, शौकत अली व मो. शरीफ को सजा सुनाई जानी थी। सजा सुनाए जाने से पहले कोर्ट में सभी दोषियों के अधिवक्ताओं ने दोषियों को कम से कम सजा सुनाने पर जोर दिया। शौकत अली के अधिवक्ता ने कोर्ट में दलील देते हुए बताया कि उसकी उम्र 65 साल की है, जिससे वह शारीरिक रूप से अक्षम हो रहा है, उसे कम से कम सजा सुनाई जाए, यही दलील शरीफ के अधिवक्ता की ओर से दी गई।
वहीं इजरायल आटेवाला के अधिवक्ता कोर्ट में पेश नहीं हुए। सपा विधायक के अधिवक्ता की ओर से दी गई दलील पर विरोध दर्ज कराते हुए डीजीसी दिलीप अवस्थी ने कोर्ट में कहा कि चार बार के विधायक इरफान सोलंकी लोकसेवक हैं, उनकी समाज के प्रति जिम्मेदारी व जवाबदेही बनती है, जिसका सपा विधायक की ओर से पालन नहीं किया गया। इनके द्वारा किए गए कृत्य से समाज पर बुरा प्रभाव पड़ता है।
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