सांपों का सीजन! 19 दिन में 151 सर्पदंश, 3 की मौत… डॉक्टर बोले- झाड़फूंक भूल जाएं"
बारिश और उमस में बिल छोड़कर निकल रहे जहरीले नाग, सपेरे भी बेबस
एटा, अमृत विचार : बरसात के बाद बढ़ी गर्मी और उमस ने जिले में सांपों का आतंक बढ़ा दिया है। पिछले 19 दिनों में 151 लोग सर्पदंश का शिकार हो चुके हैं, जिनमें तीन की मौत हो गई। 21 जुलाई से 8 अगस्त तक के आंकड़े बताते हैं कि सांप बिलों से बाहर निकलकर खेत, घर और आस-पास मौजूद लोगों को डस रहे हैं।
पहली मौत 21 जुलाई को निधौली कलां क्षेत्र के गांव धौलेश्वर में हुई, जब हुंडीलाल को सांप ने डस लिया। दूसरी घटना 1 अगस्त को हुई, जिसमें पहली कक्षा के छात्र दीपू की अलमारी से कपड़े निकालते समय मौत हो गई। तीसरी मौत बृहस्पतिवार को रमंडपुर गांव में हुई, जहां 80 वर्षीय जगदीश सिंह खेत पर काम करते वक्त सर्पदंश का शिकार बने।

चिकित्सकों का कहना है कि समय पर अस्पताल पहुंचने वाले मरीजों की जान बच रही है, लेकिन झाड़-फूंक में समय गंवाने से मौतें हो रही हैं। मेडिकल कॉलेज और सभी सरकारी अस्पतालों में पर्याप्त मात्रा में एंटी स्नेक वेनम (ASV) उपलब्ध है।
सर्पदंश पर डॉक्टर की सलाह
- घबराएं नहीं, प्रभावित हिस्से को साफ पानी से धोएं।
- चीरा न लगाएं, कसकर न बांधें।
- तुरंत नजदीकी अस्पताल या मेडिकल कॉलेज पहुंचें।
- झाड़-फूंक में समय बर्बाद न करें, यह जानलेवा हो सकता है।
यह भी पढ़ें:-फाइलेरिया से जंग : कानपुर में चलेगा बड़ा अभियान, मुफ्त दवा से टूटेगी संक्रमण की कड़ी
