फाइलेरिया से जंग : कानपुर में चलेगा बड़ा अभियान, मुफ्त दवा से टूटेगी संक्रमण की कड़ी

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Published By Vinay Shukla
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अमृत विचार, कानपुर :  जनपद में 10 अगस्त से फाइलेरिया उन्मूलन अभियान (IDA - Ivermectin, DEC, Albendazole) शुरू होगा, जिसका लाभ 25 लाख से अधिक लोगों को मिलेगा। मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ. हरिवत्त नेमी ने शुक्रवार को मीडिया कार्यशाला में कहाकि "फाइलेरिया से बचाव केवल दवा से नहीं, बल्कि जनसहभागिता से संभव है।" उन्होंने मीडिया को अफवाहों के खात्मे और जनजागरूकता फैलाने में अहम साझेदार बताया।

कहां चलेगा अभियान : अभियान 8 ग्रामीण ब्लॉकों- बिल्हौर, सरसौल, चौबेपुर, ककवन, घाटमपुर, भीतरगांव, बिधनू और पतारा तथा 3 शहरी D-type केंद्रों  ग्वालटोली, गुजैनी और गीतानगर में चलाया जाएगा। शुभारंभ 10 अगस्त को बिधनू ब्लॉक के मझावन गांव में जिलाधिकारी के दवा सेवन से होगा।

फाइलेरिया ला-इलाज लेकिन रोके जाने योग्य : मेडिकल कॉलेज के डॉ. सौरभ त्रिपाठी ने बताया कि फाइलेरिया मच्छरों से फैलने वाला रोग है, जिसका असर सालों बाद दिखता है और हाइड्रोसील व लिम्फेडेमा जैसी गंभीर समस्याएं पैदा कर सकता है। रोकथाम के लिए दवा का सेवन अनिवार्य है।

कार्यशाला

अभियान की ताकत
  • 2021 टीमें और 334 प्रशिक्षित पर्यवेक्षक तैनात
  • 2 वर्ष से अधिक आयु के लोगों को घर-घर जाकर दवा दी जाएगी
  • गर्भवती, गंभीर बीमार और 2 वर्ष से कम उम्र के बच्चों को दवा नहीं दी जाएगी
  • भोजन के बाद दवा सेवन से दुष्प्रभाव की आशंका कम
  • रैपिड रिस्पॉन्स टीमें हर वक्त तैयार

जिला मलेरिया अधिकारी अरुण कुमार सिंह के अनुसार, जिले में फिलहाल 4605 फाइलेरिया और 889 हाइड्रोसील के मरीज दर्ज हैं। पेशेंट सपोर्ट ग्रुप और ग्रामीण स्वयंसेवक भी गांव-गांव जाकर लोगों को प्रेरित कर रहे हैं।

IDA ट्रिपल ड्रग थेरेपी क्यों जरूरी?
  • शरीर में मौजूद परजीवियों का सफाया
  • संक्रमण की कड़ी टूटती है
  • लंबे समय तक सुरक्षा
  • बच्चों में कृमि संक्रमण की रोकथाम और विकास में सहायक

सीएमओ ने अपील की "दवा मुफ्त, सुरक्षित और असरदार है। समय पर सेवन करें और दूसरों को भी प्रेरित करें, ताकि कानपुर फाइलेरिया मुक्त बन सके।"

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