बरेली: स्थापना दिवस पर राग जोक, यमन राग पर दी प्रस्तुति

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Published By Om Parkash chaubey
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 एसआरएमएस रिद्धिमा की ओर से आयोजित किया गया दूसरा स्थापना दिवस

बरेली, अमृत विचार : एसआरएमएस रिद्धिमा के दूसरे स्थापना दिवस पर बुधवार को विभिन्न कार्यक्रमों का आयोजन किया गया। इस दौरान ट्रस्ट के संस्थापक देवमूर्ति ने पूर्व मंत्री राममूर्ति को उनकी 113वीं जयंती पर याद किया। उन्होंने कहा कि खैरागढ़ संगीत विश्वविद्यालय से मान्यता हासिल करने वाला यह संस्थान भारतीय संगीत और कला को संरक्षित करने में अपना अप्रतिम योगदान दे रहा है।

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पिछले वर्ष यहां थिएटर फेस्टिवल इंद्रधनुष के साथ 24 नाटकों का मंचन हुआ। विश्वदीप शर्मा ने अपनी परफार्मेंस से दर्शकों को झूमने पर मजबूत कर दिया। यमन राग पर कथक के विद्यार्थियों ने भी प्रस्तुति दी। राग जोक पर रिद्धिमा के गायन व वाद्य संगीत गुरुओं ने प्रस्तुति दी। कथक गुरु देवाज्योति नस्कर और रियाश्री चटर्जी, भरतनाट्यम गुरु अंबाली प्रहराज ने अपने शिष्यों के साथ प्रस्तुति दी।

गायन गुरु आयुषी मजूमदार, शिवांगी मिश्रा व स्नेह आशीष दुबे ने दादरा को आमने अंदाज में प्रस्तुत किया। मुख्य अतिथि नृत्यांगना कमलिनी ने बताया कि रिद्धिमा भारतीय नृत्य और संगीत के प्रचार- प्रसार के साथ वाद्य यंत्रों को संरक्षित करने में अपना अमूल्य योगदान दे रहा है।

इस दौरान आशा मूर्ति, आदित्य मूर्ति, ऋचा मूर्ति, श्यामल गुप्ता, डा. रजनी अग्रवाल, सुरेश सुंदरानी, डा. एसबी गुप्ता, डा. आरपी सिंह, एयर मार्शल डा. एमएस भटोला, डा. प्रभाकर गुप्ता, डा. सीएम चतुर्वेदी, डा. रीता शर्मा, डा. प्रभाकर गुप्ता, डा. अनुज कुमार, अजीत सक्सेना, डा. आशीष चौहान समेत अन्य लोग मौजूद रहे।

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