देहरादून: Assistant Professor झेल रहीं थीं मानिसक तनाव, नहीं दी गई Maternity Leave ...बच्ची को जन्मा पर हो गई मौत

देहरादून: Assistant Professor झेल रहीं थीं मानिसक तनाव, नहीं दी गई Maternity Leave ...बच्ची को जन्मा पर हो गई मौत

देहरादून, अमत विचार। घुड़दौड़ी इंजीनियरिंग कॉलेज की असिस्टेंट प्रोफेसर मनीषा भट्ट के आत्महत्या के मामले में डीएम ने रिपोर्ट शासन को तलब कराई है जिसमें संस्थान के निदेशक डॉ. वाई सिंह और विभागाध्यक्ष एके गौतम पर कई गंभीर आरोप हैं।

download (29)इस रिपोर्ट में लिखा है किनियुक्ति के बाद से ही असिस्टेंट प्रोफेसर मनीषा भट्ट का मानसिक उत्पीड़न शुरू कर दिया गया था। उन्हें मातृत्व अवकाश नहीं दिया गया था जिसके चलते मनीषा ने आकस्मिक अवकाश लिया। इस बीच उन्होंने एक बेटी को जन्म दिया, लेकिन उसकी भी मौत हो गई।

इस सदमे से उबर कर वे जैसे तैसे 12 मई को संस्थान में उपस्थित हुईं तो उन्हें पता चला कि विभागाध्यक्ष ने उपस्थिति रजिस्टर से उनका नाम हटा दिया है। साथ ही आरोप है कि पदोन्नति के मामले में भी विभागाध्यक्ष ने कई बार के अनुरोध के बावजूद मनीषा की पदोन्नति की पत्रावली को आगे नहीं बढ़ाया गया। इन सबसे परेशान होकर मनीषा ने बीते गुरुवार को अलकनंदा श्रीनगर नैथाणा झूल पुल से कूद लगा दी और जब उन्हें अस्पताल पहुंचाया गया, तो वहां इलाज के दौरान उनकी मौत हो गई। 

डीएम पौड़ी ने शासन की भेजी रिपोर्ट में यह भी बताया है कि विभागाध्यक्ष एके गौतम पहले गौतमबुद्ध विवि नोएडा में थे। वहां एक छात्रा से छेड़छाड़ की वजह से उन्हें निष्कासित कर दिया गया था। वर्ष 2014 में भी उन पर छेड़छाड़ का आरोप लगा था। जिसे निदेशक डॉ वाई सिंह ने दबा दिया। शासन की ओर से आदेश में कहा गया है निदेशक और विभागाध्यक्ष दोनों के खिलाफ महिला की आत्महत्या मामले में मुकदमा दर्ज हुआ है। विधिक जांच चलने तक यह प्रभावित न हो इसे देखते हुए निदेशक डॉ. वाई सिंह को विपिन त्रिपाठी कुमाऊं प्रौद्योगिक संस्थान द्वाराहाट अल्मोड़ा व एके गौतम को नन्हीं परी सीमांत प्रौद्योगिकी संस्थान पिथौरागढ़ से संबद्ध किया गया है।

मनीषा के पति संदीप भट्ट ने इस संबंध में श्रीनगर में तहरीर दी थी। कोतवाल गोविंद कुमार ने बताया, एसएसआई महेश रावत मामले की जांच कर रहे हैं। पुलिस की टीम ने कॉलेज पहुंचकर मृतका को आवंटित आवास व कार्यालय का निरीक्षण कर जरूरी दस्तावेज कब्जे में लिए हैं। इधर घुड़दौड़ी इंजीनियरिंग कालेज के छात्र-छात्राओं, शिक्षकों और कर्मचारियों ने मनीषा के परिजनों को न्याय की मांग को लेकर संस्थान परिसर में कैंडल मार्च निकाला। उन्होंने कहा मामले की निष्पक्ष जांच कर दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाए। एसएसपी श्वेता चौबे ने कहा है कि मामले की संवेदनशीलता को देखते हुए सीओ सदर की निगरानी में जांच टीम गठित की गई है। टीम को प्रकरण के हर पहलू की गंभीरता से जांच के निर्देश दिए हैं।

वहीं इस पूरे मामले में प्रो. वाई सिंह और प्रो. एके गौतम ने अपने ऊपर लगे इन आरोपों को बेबुनियाद बताते हुए कहा कि मनीषा ने पारिवारिक कारणों से आत्महत्या की है वे जांच के लिए तेयार हैं। छह माह से मेरी उनसे कोई मुलाकात नहीं हुई है। जिस दिन उन्होंने अवकाश के लिए आवेदन किया था, उन्हें उसी दिन अवकाश दे दिया था। प्रमोशन के लिए उन्होंने आवेदन ही नहीं किया है। वहीं, प्रो. एके गौतम ने बताया मनीषा के पति भी संस्थान में सेवारत थे, उनकी नियुक्ति हाईकोर्ट के आदेश पर निलंबित हो चुकी है।