Chitrakoot News: सीएचसी में बच्चे की मौत, गुस्साए ग्रामीणों ने दिया धरना...परिजनों ने डॉक्टरों पर गलत इलाज करने का लगाया आरोप

Amrit Vichar Network
Published By Nitesh Mishra
On

चिकित्सकों की संवेदनशीलता फिर सवालों के घेरे में

चित्रकूट, अमृत विचार। सरकारी अस्पतालों में मरीजों और तीमारदारों के साथ संवेदनहीन व्यवहार का एक और उदाहरण सामने आया है। सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र मानिकपुर में सोमवार की रात एक पांच वर्षीय बच्चे की इलाज के दौरान मौत हो गई। परिजनों का आरोप है कि चिकित्सक ने जबर्दस्ती दो इंजेक्शन लगवा दिए, जिससे बच्चे ने तड़पकर जान दे दी। घटना के बाद आक्रोशित परिजनों ने ग्रामीणों के साथ अस्पताल में हंगामा काटते हुए धरना दे दिया।

इस पर एसडीएम पंकज वर्मा और एसओ विनोद कुमार शुक्ला वहां पहुंचे और परिजनों को कार्रवाई का भरोसा दिया। तब कहीं जाकर मामला शांत हुआ। इस दौरान लगभग दो घंटे तक अफरातफरी मची रही। 

मानिकपुर थाना क्षेत्र की ग्राम पंचायत चुरेह केसरूआ के मजरा सुवरगढा निवासी गोरेलाल कोल ने बताया कि बेटे अर्पित (5) के पेट में दर्द होने पर वे लोग उसे लेकर करीब साढ़े आठ बजे रात सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पहुंचे थे। उसने आरोप लगाया कि वहां गलत इलाज की वजह से रात करीब साढ़े दस बजे उसकी मौत हो गई। 

अर्पित की मौत की जानकारी जैसे ही गांव पहुंची, भारी संख्या में लोग अस्पताल पहुंच गए। डाक्टर व अन्य स्टाफ पर गलत इलाज करने का आरोप लगाते हुए हंगामा करना शुरू कर दिया। कुछ लोगों ने हाता निवासी भाजपा नेता आशीष कोल को सूचना दी तो वह भी वहां पहुंच गए। उन्होंने भी गांववालों के साथ चिकित्सकों पर लापरवाही और गलत इलाज के आरोप लगाए। 

ग्रामीण मुख्य चिकित्साधिकारी को मौके पर बुलाने की मांग को लेकर अड़ गए। स्थिति बिगड़ती देख उच्चाधिकारियों को सूचना दी गई। इस पर उप जिलाधिकारी पंकज वर्मा और  थाना प्रभारी विनोद कुमार शुक्ला पहुंचे और परिजनों को जांच कराकर सख्त कार्रवाई का भरोसा दिया। 

इसके बाद परिजन शव को पोस्टमार्टम के लिए भेजने के लिए तैयार हुए। गोरेलाल मजदूरी करके परिवार का भरणपोषण करता है। इसके चार बच्चों भुक्कू (10), बच्चू (8) और कोमल (2) के अलावा तीसरे नंबर पर बेटा अर्पित था।

ये भी पढ़ें- महोबा में बड़ी घटना: दो बाइकों की आमने-सामने टक्कर...चार जिंदा जले, दो की हालत बेहद नाजुक, घटनास्थल पर पहुंचे अधिकारी

संबंधित समाचार