सलमान खुर्शीद ने कांग्रेस नेताओं को सुनाई खरी-खरी, कहा- क्या देशभक्त होना इतना मुश्किल है, जानिए पूरा मामला

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Published By Virendra Pandey
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नई दिल्ली। ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के बाद वैश्विक स्तर पर भारत का पक्ष रखने वाले प्रतिनिधिमंडलों में से एक में शामिल कांग्रेस के वरिष्ठ नेता सलमान खुर्शीद ने सोमवार को कहा कि यह दुखद है कि देश में लोग राजनीतिक निष्ठाओं का आकलन कर रहे हैं। उन्होंने सवाल किया कि क्या देशभक्त होना इतना मुश्किल है?

पूर्व विदेश मंत्री खुर्शीद जनता दल यूनाइटेड (जदयू) नेता संजय झा की अध्यक्षता वाले प्रतिनिधिमंडल का हिस्सा हैं। यह प्रतिनिधिमंडल जापान, दक्षिण कोरिया, सिंगापुर, इंडोनेशिया और मलेशिया की यात्रा पर गया है। खुर्शीद ने ‘एक्स’ पर पोस्ट किया, ‘‘जब आतंकवाद के खिलाफ भारत का संदेश दुनिया तक पहुंचाने के मिशन पर हों, तो यह दुखद है कि देश में लोग राजनीतिक निष्ठाओं का आकलन कर रहे हैं। क्या देशभक्त होना इतना मुश्किल है?’’ 

खुर्शीद का यह पोस्ट कांग्रेस सांसद शशि थरूर पर उदित राज और पार्टी के कुछ अन्य नेताओं के हमलों के बाद आया है। उदित राज ने तो थरूर को भाजपा का ‘सुपर प्रवक्ता’ करार दिया था। थरूर सात प्रतिनिधिमंडलों में से एक का नेतृत्व कर रहे हैं और इस समय ब्राजील में हैं। खुर्शीद ने रविवार को इंडोनेशिया में थिंक टैंक के साथ बातचीत के दौरान कहा था कि कश्मीर में लंबे समय से ‘‘बड़ी समस्याएं’’ थीं और अनुच्छेद 370 को निरस्त करने से आखिरकार इनका अंत हो गया। 

इस टिप्पणी का सत्तारूढ़ भाजपा के नेताओं ने स्वागत किया और इसे लेकर एक राजनीतिक विवाद भी खड़ा हो गया। भाजपा नेता शहजाद पूनावाला ने खुर्शीद की टिप्पणी का जिक्र करते हुए कांग्रेस और अन्य विपक्षी दलों की आलोचना की तथा उन पर राष्ट्रीय हित की अनदेखी करने का आरोप लगाया। पूनावाला ने कहा, ‘‘शशि थरूर और मनीष तिवारी के बाद एक और कांग्रेस नेता ने वास्तविकता सामने रखी है और कांग्रेस और ‘इंडिया’ गठबंधन को आईना दिखाया है।’’ उन्होंने कहा, ‘‘सलमान खुर्शीद ने कहा है कि जब सर्वदलीय प्रतिनिधिमंडल भारत को पहले रखकर पाकिस्तान को बेनकाब करने के मिशन पर है, तो कुछ लोग राजनीतिक निष्ठाओं का आकलन कर रहे हैं। क्या देशभक्त होना इतना मुश्किल है? यह उन लोगों के चेहरे पर करारा तमाचा है, जो लगातार भारत की सैन्य ताकत और भारत के कूटनीतिक प्रयासों पर संदेह कर रहे हैं।’’

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