आधुनिक खुदरा क्षेत्र के लिए एकीकृत लाइसेंसिंग की आवश्यकता: रिलायंस रिटेल

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Published By Muskan Dixit
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नई दिल्ली: रिलायंस रिटेल के अध्यक्ष रवि गांधी ने बुधवार को कहा कि संगठित खुदरा क्षेत्र के तेजी से बढ़ते विस्तार को देखते हुए नियामकीय सुधारों की तत्काल जरूरत है। इसके तहत दुकान-आधारित लाइसेंसिंग व्यवस्था को छोड़कर एकीकृत इकाई-आधारित लाइसेंसिंग प्रणाली को अपनाने पर विचार करना चाहिए। फिक्की द्वारा आयोजित ‘मासमेराइज 2025’ कार्यक्रम में बोलते हुए उन्होंने सुझाव दिया कि दुकान खोलने की प्रक्रिया को तेज करने के लिए लाइसेंस से पहले होने वाले निरीक्षण की जगह लाइसेंस के बाद निरीक्षण की व्यवस्था लागू की जानी चाहिए। 

गांधी ने कहा, “वर्तमान में देश में खुदरा क्षेत्र से जुड़े सभी नियम और कानून व्यक्तिगत दुकानों को ध्यान में रखकर बनाए गए हैं। सभी लाइसेंस भी इसी आधार पर जारी किए जाते हैं।” उन्होंने जोर देकर कहा कि जैसे-जैसे संगठित खुदरा क्षेत्र में बड़े पैमाने पर कंपनियां प्रवेश कर रही हैं, वैसे में दुकान-आधारित लाइसेंस के बजाय एकीकृत इकाई-आधारित लाइसेंस प्रणाली से व्यवसाय करना अधिक सुगम हो सकता है। 

उन्होंने यह भी कहा कि लाइसेंस प्राप्त करने के लिए आवश्यक दस्तावेजों और निरीक्षण प्रक्रियाओं की समीक्षा की जानी चाहिए। गांधी ने बताया कि लाइसेंस से पहले होने वाले निरीक्षण में काफी समय लगता है। यदि इस प्रक्रिया को लाइसेंस-पश्चात निरीक्षण में बदला जाए, तो दुकानों को शुरू करने में तेजी आएगी और व्यवसाय शुरू करने में आसानी होगी।

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