भक्ति दुकान पर मिलने वाली चीज नहीं : दिनेशाचार्य 

Amrit Vichar Network
Published By Virendra Pandey
On

अमृत विचार, अयोध्या। रामपुर भगन में आयोजित सात दिवसीय श्रीमद्भागवत कथा का शुभारंभ करते हुए कथा व्यास दिनेशाचार्य महाराज ने बताया कि भक्ति दुकान पर मिलने वाली चीज नहीं, यह तो हमारे भीतर ही है, बस वह सुप्त है, वह भगवान की कथा के श्रवण से जागृत होगी।

भगवान की कथा और कीर्तन दोनों मनुष्य को पवित्र करने वाले हैं, वह अपनी कथा सुनने वालों के हृदय में कर्णरंध्र के माध्यम से आकर स्थित हो जाते हैं और व्यक्ति की अशुभ वासनाओं को नष्ट कर देते हैं। भागवत जी भगवान का ही स्वरूप हैं, भागवत श्रवण करना मतलब भगवान को श्रवण करना। स्वधाम गमन से पूर्व भगवान ने अपना तेज भागवत में रखा और कहा कि यह मेरा पता है मैं इसमें मिलूंगा। यहां मेरे भक्तगण मुझे प्राप्त कर सकेंगे। उक्त अवसर पर आयोजक सालिक राम मद्धेसिया ने सभी श्रोताओं का आभार व्यक्त किया।

यह भी पढ़ें : लहराया तिरंगा : मस्जिद-ए-अयोध्या भूमि पर अजान से पहले गूंजा जन गण मन...

संबंधित समाचार