एफपीओ से जोखिम लेने की बढ़ेगी शक्ति : डाॅ. शान्तनु

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Published By Jagat Mishra
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लखनऊ, अमृत विचार। एफपीओ के गठन से किसानों की जोखिम लेने की शक्ति बढ़ेगी। इससे अच्छी पैदावार करने के साथ अच्छे दामों पर बेचेंगे। यह बातें संगोष्ठी में मुख्य अतिथि के तौर पर भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद- अटारी कानपुर के निदेशक डाॅ. शान्तनु कुमार दुबे ने किसानों से कही।

गुरुवार को कैंट स्थित भारतीय गन्ना अनुसंधान संस्थान परिसर में मधुमक्खी पालन पर दो दिवसीय राष्ट्रीय संगोष्ठी कृषि विज्ञान केंद्र ने आयोजित की। मुख्य अतिथि निदेशक डॉ. शान्तनु कुमार दुबे ने कहा कि किसान किसी ठोस समूह में न होने के कारण खेती में पैदावार से लेकर बिक्री तक कई समस्याओं का सामना कर रहे हैं। एफपीओ के गठन से किसानों की जोखिम लेने की शक्ति बढ़ेगी और आमदनी में इजाफा होगा। 

प्रधान वैज्ञानिक व नोडल अधिकारी कृषि विज्ञान केंद्र डॉ. बीपी सिंह ने कहा कि ब्रांडिंग, पैकेजिंग व प्रमाणीकरण होने से बढ़ा मूल्य बाजार में मिलेगा। वरिष्ठ वैज्ञानिक डॉ. अखिलेश दुबे ने बताया कि किसान खेती के साथ मधुमक्खी पालन करें। इससे यह अतिरिक्त आय होगी। इससे किसान खाली नहीं रहेंगे। गोष्ठी में उपनिदेशक डा. रणजीत सिंह राजपूत एसएफएसी, डा. धन्नजय एम बाखले पूर्व राष्ट्रीय सलाहकार आदि रहे।

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