UP: पूर्व शिक्षा मंत्री अमरजीत सिंह जन सेवक के निधन से छाई शोक की लहर; अपने इस अलग अंदाज के लिए थे लोकप्रिय...जानें...

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Published By Deepak Shukla
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74 वर्ष की आयु में पूर्व मंत्री ने दुनिया को कहा अलविदा

फतेहपुर, अमृत विचार। अपने चिर परिचित अंदाज में चार पहिया गाड़ी में आल्हा बजाकर निकलने वाले पूर्व शिक्षा मंत्री अमरजीत सिंह जन सेवक का आल्हा अब क्षेत्र में नहीं सुनाई देगा। वर्ष 1988 में कांग्रेस में शामिल होकर राजनीतिक सफर शुरू करने वाले जनसेवक का लम्बी बीमारी के बाद गुरुवार की सुबह लखनऊ एक अस्पताल में उनका निधन हो गया। उनके निधन के बाद पूरे क्षेत्र व जनपद में शोक का माहौल छा गया।

बिंदकी विधान सभा के गांव कोरसम के मूल निवासी अमरजीत सिंह जनसेवक वर्तमान में कानपुर के पांडु नगर स्थित अपने आवास में रह रहे थे। वर्ष 1988-89 में कानपुर कांग्रेस नेत्री सुशीला देवी के नेतृत्व में कांग्रेस पार्टी ज्वाइन किया था। उसके बाद उन्होंने पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी से भी मुलाकात की। जनसेवक एक हाथ से दिव्यांग होने के कारण विकलांग कल्याण बोर्ड का अध्यक्ष पद से नवाजा गया। 

अपने राजनीतिक सफर को आगे बढ़ाते हुए वह वर्ष 1991 में भारतीय जनता पार्टी का दामन थामा। इसी वर्ष जनसेवक विधान सभा का चुनाव लड़े। लेकिन हार का मुंह देखना पड़ा था। उस दौरान पूर्व प्रधानमंत्री वीपी सिंह की लहर थी। 1993 में उन्होंने विधायकी का चुनाव लड़ा तो सफलता मिली। 1996 में बीजेपी से ही चुनाव लड़े लेकिन सफलता नहीं मिली। वर्ष 2002 के चुनाव में जीत हासिल कर शिक्षामंत्री बने। 

वर्ष 2004 में विधान सभा क्षेत्र के हरियापुर गांव आए पूर्व मुख्यमंत्री स्व. मुलायम सिंह यादव के आगमन पर जनसेवक ने फतेहपुर से चुनाव लड़ने को न्योता दे डाला। वर्ष 2007 में इन्होंने बहुजन समाज पार्टी का दामन थाम लिया। यहां से टिकट न मिलने पर फिर पाला बदला और 2012 में समाजवार्दी पार्टी में शामिल हुए। 

यहां पर भी टिकट न मिलने की निराशा लिए हुए वह 2012 में लोकदल पार्टी से चुनाव लड़े थे। वर्ष 2014 के बाद से अब तक भारतीय जनता पार्टी में ही रहकर राजनीति करते रहे। करीब 74 वर्ष की आयु में 15 फरवरी 2024 में सभी को अलविदा करते हुए दिवंगत हो गए। 

पत्नी समेत दो पुत्रों को छोड़ गए

पूर्व शिक्षामंत्री के निधन से उनकी पत्नी प्रमिला सिंह एवं दो पुत्र आशीष सिंह एवं अमित सिंह समेत परिजन शोक में डूबे रहे। सूत्रों की मानें तो पुत्र आशीष अब राजनीति में कदम रख सकते हैं। 

सभी को भाता रहा जनसेवक का अंदाज

बिंदकी क्षेत्र के पूर्व माध्यमिक शिक्षा मंत्री अमरजीत सिंह जन सेवक का क्षेत्र में भ्रमण करने का एक अपना अलग अंदाज था। वह अपने चार पहिया वाहन में हमेशा आल्हा बजाते हुए निकलते थे। लोग दूर से ही जान जाते थे कि जन सेवक आ रहे हैं।

सपाइयों ने दी श्रद्धांजलि

पूर्व शिक्षामंत्री जनसेवक के निधन पर सपा के प्रदेश अध्यक्ष नरेश उत्तम, जिलाध्यक्ष सुरेन्द्र सिंह यादव समेत अन्य पदाधिकारियों ने दुख व्यक्त करते हुए श्रद्धांजलि दी। उनके आत्मशांति के लिए ईश्वर से प्रार्थना की गई। प्रदेश अध्यक्ष ने कहा इनके निधन से अपूर्णनीय क्षति हुई है। वहीं जिलाध्यक्ष ने कहा कि ऐसे जुझारु नेता के चले जाने की भरपाई नहीं की जा सकती है।

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