कानपुर में गर्भवतियों को हैलट के नहीं लगाने होंगे चक्कर, जच्चा-बच्चा अस्पताल में शुरू हुई यह सुविधा...

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Published By Deepak Shukla
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कानपुर, अमृत विचार। हैलट के जच्चा-बच्चा अस्पताल में आने वाली गर्भवतियों को अब अल्ट्रासाउंड के लिए परेशान नहीं होना पड़ेगा। न ही उनको अल्ट्रासाउंड कराने के लिए जच्चा-बच्चा अस्पताल से हैलट के रेडियोलॉजी विभाग जाना होगा। क्योंकि अब गर्भवतियों का अल्ट्रासाउंड जच्चा-बच्चा ओपीडी के छह नंबर कमरे में ही हो सकेगा। इसकी तैयारी की जा रही है। 

जीएसवीएम मेडिकल कॉलेज के जच्चा-बच्चा अस्पताल में आने वाली गर्भवतियों को अभी अल्ट्रासाउंड के लिए हैलट के रेडियोलॉजी विभाग भेजा जाता है। ऐसे में सबसे अधिक दिक्कत उन गर्भवतियों को होती है, जो दर्द के कारण चल नहीं पातीं और उनको स्ट्रेचर से करीब पांच सौ मीटर दूर जांच के लिए जाना पड़ता है। हैलट परिसर की सड़क की स्थिति अच्छी नहीं होने पर गर्भवतियों को अधिक दर्द व तकलीफ होती है। 

ऐसे में स्त्री एवं प्रसूति रोग विभाग की विभागाध्यक्ष डॉ.नीना गुप्ता ने मरीजों का दर्द समझते हुए उच्चाधिकारियों से जच्चा-बच्चा अस्पताल में अल्ट्रासाउंड मशीन की मांग की थी। विभागाध्यक्ष के काफी प्रयासों के बाद अब एक अत्याधुनिक अल्ट्रासाउंड मशीन जच्चा-बच्चा अस्पताल में सीएसआर फंड से एचएएल ने उपलब्ध कराई है। वहीं, अस्पताल को अभी एक और अल्ट्रासाउंड मशीन मिलनी हैं। 

दो अल्ट्रासाउंड मशीनें होने पर अस्पताल में अपने वाली महिला, युवती, किशोरी व गर्भवतियों को अल्ट्रासाउंड के लिए भटकना नहीं पड़ेगा। विभागाध्यक्ष डॉ.नीना गुप्ता ने बताया कि सीएसआर फंड से एचएएल ने अत्याधुनिक अल्ट्रासाउंड मशीन उपलब्ध हुई है, जिसको ओपीडी के कमरा नंबर छह में लगाया जाएगा, जहां पर एएनसी जांच के लिए आने वाली गर्भवतियों को अल्ट्रासाउंड की सुविधा तुंरत मिलेगी।

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