यूपी के बच्चे होंगे कुपोषण मुक्त, आंगनवाड़ी केंद्रों की निगरानी करेंगे 100 नोडल अधिकारी

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Published By Muskan Dixit
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लखनऊ, अमृत विचार: उत्तर प्रदेश में बच्चे को कुपोषण मुक्त करने के लिए 100 नोडल अधिकारियों की तैनाती की गई है जो सभी 75 जिलों के सौ आंगनवाड़ी केंद्रों की निगरानी करेंगे। राज्य सरकार की ओर से उत्तर प्रदेश में संभव अभियान का पांचवा चरण लांच कर दिया गया है। यह अभियान कुपोषण मुक्त बचपन की दिशा में एक और कदम है।

इस अभियान का मुख्य उद्देश्य राज्य में 5 वर्ष तक की आयु के बच्चों में अतिगंम्भीर कुपोषित बच्चों का चिन्हांकन एवं चिकित्सीय उपचार तथा स्टंटिंग (नाटापन) की दर में प्रभावी कमी लाना है। कुपोषण की समस्या न केवल बच्चों के शारीरिक विकास को बाधित करती है, बल्कि उनके मानसिक विकास को भी प्रभावित करती है। राज्यव्यापी संभव अभियान के पांचवें संस्करण संभव की शुरुआत बेबी रानी मौर्य माननीय मंत्री महिला कल्याण, बाल विकास एवं पुष्टाहार और प्रतिभा शुक्ला राज्य मंत्री महिला कल्याण, बाल विकास एवं पुष्टाहार द्वारा लखनऊ में की गई।

तैनात नोडल अधिकारियों से निरीक्षण में प्राप्त रिपोर्ट के आधार पर जिलाधिकारी की अध्यक्षता में प्रतिमाह आयोजित होने वाली जिला पोषण समिति की बैठक में बच्चों की सेहत में कमियों के बारे में विस्तार से समीक्षा की जायेगी एवं इसकी दर में सुधार के सकारात्मक परिणाम के आधार पर आंगनवाड़ी केंद्रों को चिन्हित कर अन्य केंद्रों के लिए मॉडल के रूप में प्रस्तुत किया जाएगा।

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