बिहार में मतदाता पहचान के लिए आधार कार्ड को 12वें दस्तावेज के रूप में शामिल करें: निर्वाचन आयोग

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Published By Muskan Dixit
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नई दिल्ली। निर्वाचन आयोग ने बिहार के मुख्य निर्वाचन अधिकारी को निर्देश दिया है कि मतदाताओं की पहचान सत्यापित करने के लिए आधार कार्ड को एक अतिरिक्त दस्तावेज के रूप में स्वीकार किया जाए। यह निर्णय उच्चतम न्यायालय के निर्देशों के अनुपालन में लिया गया है। मंगलवार को जारी एक पत्र में आयोग ने कहा कि 11 सूचीबद्ध दस्तावेजों के साथ-साथ आधार कार्ड को 12वें दस्तावेज के रूप में मान्यता दी जाएगी। 

आयोग ने यह भी स्पष्ट किया कि आधार कार्ड को आधार अधिनियम, 2016 की धारा 9 के तहत केवल पहचान के प्रमाण के रूप में स्वीकार किया जाएगा, न कि नागरिकता के प्रमाण के रूप में। जनप्रतिनिधित्व अधिनियम, 1950 की धारा 23(4) के अनुसार, आधार कार्ड पहले से ही पहचान सत्यापन के लिए मान्य दस्तावेजों में शामिल है। 

निर्वाचन आयोग ने चेतावनी दी कि आधार कार्ड को स्वीकार न करने या अस्वीकार करने की किसी भी घटना को बहुत गंभीरता से लिया जाएगा। उच्चतम न्यायालय ने सोमवार को आयोग को निर्देश दिया था कि बिहार में मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) के दौरान मतदाता पहचान के लिए आधार कार्ड को 12वें दस्तावेज के रूप में शामिल किया जाए। साथ ही, इस निर्देश को 9 सितंबर तक लागू करने का आदेश दिया गया था।

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