रामपुर : मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह में गूंजे मंत्र और कुबूल-कुबूल है
डीएम, एसपी सहित अन्य अधिकारी सामूहिक विवाह में हुए शामिल
रामपुर, अमृत विचार। राजकीय आश्रम पद्धति इंटर कॉलेज के परिसर में शुक्रवार को मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह में शादी के मंत्र और कुबूल-कुबूल है की गूंज सुनाई दी। जिलाधिकारी अजय कुमार द्विवेदी, पुलिस अधीक्षक विद्यासागर मिश्र, मुख्य विकास अधिकारी गुलाब चंद्र, जिला समाज कल्याण अधिकारी सूरज कुमारी सहित अन्य अधिकारी 850 जोड़ों की शादियों के गवाह बने।
शादियों में पहुंचने वाले मेहमानों का बैंड बाजे की धुन पर स्वागत हुआ। जबकि लाउडस्पीकर पर शहनाई गूंजती रही। पंडाल में सुबह से दूल्हा और दुल्हनों समेत उनके परिजन पहुंच रहे थे। पूर्व सांसद घनश्याम सिंह लोधी, राज्य पिछड़ा वर्ग के उपाध्यक्ष सूर्य प्रकाश पाल, राज्य महिला आयोग की सदस्य सुनीता सैनी, जिला सहकारी बैंक के चेयरमैन मोहनलाल सैनी, जिलाधिकारी, पुलिस अधीक्षक, मुख्य विकास अधिकारी मंचासीन रहे। जिलाधिकारी समेत तमाम मेहमानों ने दीप प्रज्वलित कर शादी समारोह का आगाज किया।
इसके बाद पंडाल में पंडितों के मंत्र गूंजने लगे जयमाला कराने के बाद सात फेरे कराए गए। हवन कुंड में कहीं आग जल रही थी और कहीं दीपक से ही काम चलाया गया। इससे पहले पूर्व सांसद घनश्याम सिंह लोधी ने दूल्हा और दुल्हानों को सुखी जीवन के लिए आशीर्वाद दिया। राज्य पिछड़ा वर्ग उपाध्यक्ष सूर्य प्रकाश पाल ने कहा कि यह समारोह उत्तर प्रदेश सरकार की महत्वाकांक्षी योजना का हिस्सा है। इसका उद्देश्य आर्थिक रूप से कमजोर परिवारों की बेटियों के विवाह में सहयोग प्रदान करना है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह योजना ने सामाजिक समरसता को बढ़ावा देने और पात्र परिवारों को सम्मान के साथ आर्थिक सहायता उपलब्ध कराने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।
जिला सहकारी बैंक के चेयरमैन मोहन लाल सैनी ने कहा कि सभी नवदंपत्तियों का जीवन सुखमय और समृद्ध रहे। उन्होंने कहा कि सामूहिक विवाह कार्यक्रम आपसी सद्भाव और एकता को बढ़ावा देता है। इस योजना के माध्यम से गरीब परिवारों की बेटियों का विवाह धूमधाम और गरिमा के साथ संपन्न कराया जा रहा है, जो अत्यंत सराहनीय पहल है। जिलाधिकारी ने कहा कि यह योजना प्रदेश सरकार की महत्वाकांक्षी योजनाओं में से एक है, जिसके तहत निम्न अर्थव्यवस्था वाले परिवार की बेटियों का विवाह सम्पन्न कराया जाता है। उन्होंने बताया कि योजना को और अधिक पारदर्शी ढंग से लागू करने के लिए और पात्र लाभार्थियों को योजना का लाभ दिलाने के लिए विभाग द्वारा बायोमेट्रिक प्रक्रिया प्रारंभ की गई है।
शादी करने नहीं पहुंचे 195 जोड़े
शादी के लिए 1045 जोड़ों ने आवेदन किया था लेकिन, शुक्रवार को विवाह विवाह के लिए 195 जोड़े नहीं पहुंचे। जिला समाज कल्याण अधिकारी ने बताया कि 195 जोड़े विवाह मंडप से अनुपस्थित रहे उन्हें शादी अनुदान का कोई लाभ नहीं मिलेगा।
प्रत्येक जोड़े पर खर्च हुए एक लाख रुपये
जिला समाज कल्याण अधिकारी सूरज कुमारी ने बताया कि मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह योजना में शासन से प्रत्येक जोड़े के विवाह पर 1 लाख रुपये व्यय करने की व्यवस्था की गई है। गृहस्थी की स्थापना के लिए 60,000 रुपये कन्या के बैंक खाते में हस्तांतरित की जाएगी। 25000 रुपये की धनराशि का विभिन्न प्रकार के समान, आवश्यक व्यवस्थाओं के लिए और 15000 रुपये की धनराशि को आयोजन खर्च के रूप में शामिल किया गया है।
