पीलीभीत: ई-रिक्शा की हो रही कोडिंग, रंगों से होगी रूट की पहचान...ताकि सड़कों पर न लग पाए जाम
पीलीभीत, अमृत विचार। शहर को जाम की समस्या से निजात दिलाने और ई-रिक्शा का रुट तय करने के लिए एआरटीओ और पुलिस प्रशासन की ओर से रुट निर्धारण के साथ कलर कोडिंग और वारकोड लगाए जा रहे हैं। ताकि ई-रिक्शा की सवारी करने वाले लोगों को गन्तव्य तक जाने में आसानी हो।
उन्हें किस रूट पर जाना है, इसकी जानकारी ई-रिक्शा के कलर व कोड नंबर से होगी। परिवहन विभाग और पुलिस ने ई-रिक्शा की कोडिंग शुरू करा दी है। यातायात पुलिस ने 300 से अधिक ई-रिक्शा की कलर कोडिंग करा दी है। जिनके नंबर से रूटवार पहचान हो सकेगी। कोडिंग पूरी होने के बाद ई-रिक्शा का जल्द ही रूट ट्रायल होगा
शहर में करीब चार हजार से अधिक ई-रिक्शा पंजीकृत है। चार हजार ई-रिक्शा के संचालन से शहर में जाम की स्थिति बनी रहती थी। शहर को जाम से निजात दिलाने के लिए संभागीय परिवहन विभाग ने ई-रिक्शा की कोडिंग का प्लान तैयार किया। इसी प्लान के तहत संभागीय परिवहन विभाग और यातायात पुलिस ने प्रथम चरण में शहरी क्षेत्र में ई-रिक्शा की कोडिंग शुरू की है।
शहर के ई-रिक्शा चालकों को ठेका चौकी पर स्थित यातायात कार्यालय में ई-रिक्शा पर बारकोड चस्पा किए जा रहे हैं। जिसमें चालक का नाम, पता मोबाइल नंबर, ब्लड ग्रुप आदि की डिटेल अपलोड होगी। साथ ही किस रुट पर यह ई-रिक्शा चलेगा। इसकी जानकारी भी स्कैन करने पर आसानी से मिल सकेगी। प्रतिदिन पुलिस और यातायात कर्मी ई-रिक्शा को कार्यालय भेज रहे हैं। ताकि शत प्रतिशत फीडिंग कराई जा सके।
इसके बाद लाल सफेद और पीले रंग समेत पांच रुट निर्धारित किए जाएंगे। जिससे कोडिंग किए गए ई-रिक्शा को रुट का आवंटन किया जाएगा। आवंटन होने के बाद वह निर्धारित रुट पर ही ई-रिक्शा चला सकेंगे। अगर अन्य रुट पर पकड़े जाते हैं तो उनके खिलाफ चालान की कार्रवाई की जाएगी। हालांकि चुनाव के चलते यह अभियान पूरी तरह से तैयार नहीं हो सका। जिससे अफसर मतगणना के बाद सुचारु करने की बात कह रहे हैं।
ई-रिक्शा की कलर कोडिंग और वारकोड चस्पा किए जा रहे हैं। कलर के हिसाब से सभी को रुट आवंटित किया जाएगा। इसके अलावा सुरक्षा के लिहाज से दाहिनी ओर के गेट को लोहे के पाइप लगाकर बंद कराया जा रहा है। ताकि सवारी एक तरफ से ही चढ़ उतर सके। जल्द ही यह प्लान धरातल पर दिखाई देगा। - वीरेंद्र सिंह, एआरटीओ
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