International Day Against Drug Abuse & Illicit Trafficking: नशीली दवाओं के कारोबार का गढ़ बन रही राजधानी लखनऊ, पढ़ें ये विशेष रिपोर्ट

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Published By Deepak Mishra
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रजनीश तिवारी, लखनऊ/अमृत विचार। एक वक्त था जब राजधानी को रसीले आम के कारोबार लिए जाना जाता था, पर अब राजधानी नशे के कारोबार के लिए मशहूर होती जा रही है। शहर में बेधड़क तरीके से बड़े पैमाने पर नशीली दवाओं का व्यापार चल रहा है। इंटरनेशल डे अगेंस्ट ड्रग अब्यूज एंड इल्लिसिट ट्रैफिकिंग पर विशेष खबर…

एक वर्ष में एसटीएफ ने लखनऊ से किया चार बड़े गिरोहों का भंडाफोड़

यूपी एसटीएफ की ओर से मार्च 2022 से लेकर अबतक शहर में नशीली दवाओं का कारोबार करने वाले चार गिरोहों का भंडाफोड़ किया जा चुका है। 17 जुलाई 2022, 07 सितंबर 2022, 13 जनवरी 2023 व 14 जून 2023 को लखनऊ में ही बड़े पैमाने पर नशीली दवाओं का स्टॉक पकड़ा गया। इसके अलावा क्षेत्रीय पुलिस द्वारा नशीली दवा नाइट्रोजापाम-10 (एन-10) का भी भारी मात्रा में स्टॉक पकड़ा जा चुका है।

लखनऊ से विदेशों तक जुड़े तार

एसटीएफ की ओर से इसी वर्ष 13 जनवरी 2023 को कैण्ट थाना क्षेत्र में संचालित एक ऑनलाइन फार्मेसी व 14 जून 2023 को वजीरगंज में संचालित ऑनलाइन फार्मेसी का भंडाफोड़ किया गया, जिनके द्वारा फार्मेसी की आड़ में प्रतिबंधित नशीली दवाओं की बिक्री की जा रही थी। इस ऑनलाइन फार्मेसी द्वारा ऑनलाइन कॉल सेंटर चलाकर विदेशों तक नशीली दवाओं की सप्लाई की जा रही थी। फार्मेसी द्वारा बड़े पैमाने पर शिपिंग के माध्यम से विदेशों को नशीली दवाओं का स्टॉक भेजा जा रहा था। जिनसे पे पाल और बिटक्वाइन में पेमेंट ली जा रही थी। एसटीएफ की ओर से फार्मेसी से 46 लाख रुपये की नशीली दवाएं जब्त करते हुए तीन लोगों को गिरफ्तार किया गया था। प्राप्त जानकारी के अनुसार इनमें से अधिकांश दवाएं हरियाणा, पंजाब व पुणे से मंगाई जाती थीं।

ट्रामाडोल, कोडिन फास्फेट, मार्फिन व एन-10 की जबरदस्त डिमांड

विदित हो कि नार्कोटिक्स विभाग के निर्देश पर ड्रग विभाग की ओर से नशे के लिए उपयोग की जा रही 76 तरीके की दवाओं को प्रतिबंधित किया गया है। बावजूद इसके चोरी-छिपे इन दवाओं की खरीद-बिक्री हो रही है। खासकर कोडिन फास्फेट यौगिक वाले कफ सिरप जैसे कोडिस्टार, टेडीकोफ, एस्कोरिल सी आदि व नाइट्रोजापाम-10 जैसी दवाओं की खासी मांग है। दरअसल इन दवाओं में नींद के लिए हल्के नशे के पदार्थ मिलाये जाते हैं, जिन्हें नशेड़ी लोग ओवरडोज लेकर नशा करने के लिए इस्तेमाल करते हैं।

शहर में एसटीएफ ने नशीली दवाओं के कारोबार को काफी हद तक ब्रेक किया है। हाल ही में दो बड़े गिरोह पकड़े गये हैं जो ऑनलाइन फार्मेसी के नाम पर विदेशों तक नशीली दवाओं की सप्लाई करते थे। एसटीएफ इनके डिमांड-सप्लाई नेटवर्क का पता करने में लगी हुई है ..., विशाल विक्रम, एसएसपी, यूपी एसटीएफ।

एसटीएफ की ओर से मार्च 2022 से अबतक लखनऊ में की गई कार्रवाई :-
दिनांक – स्थान – कार्रवाई

17 जुलाई 2022 – मदेयगंज – ऑनलाइन फार्मेसी के नाम पर नशीली दवाएं बेच रहे दो गिरफ्तार
07 सितंबर 2022 – आलमबाग – नशीली दवाओं की खरीद-बिक्री कर रहे 06 तस्कर गिरफ्तार

13 जनवरी 2023 – कैण्ट - ऑनलाइन फार्मेसी के नाम पर नशीली दवाएं बेच रहे तीन गिरफ्तार, 46 लाख की नशीली दवाएं जब्त
14 जून 2023 – वजीरगंज - ऑनलाइन फार्मेसी के नाम पर कॉल सेंटर चलाकर विदेश तक नशीली दवाएं बेच रहा मुख्य अभियुक्त गिरफ्तार

एसटीएफ की ओर जब्त की गईं प्रमुख नशीली दवाएं : ट्रामा सेट, विगोर-50, अल्प्राजोलम-0.25एमजी, सेंसर ऑन-50, क्लोवडॉल-100, लाइपिन-10, हर्बल इम्यून बूस्टर टैबलेट, ट्रामेफ-एपी, स्पाज्मो प्रॉक्सीवॉन प्लस।

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