बरेली: 21 को फिर मिला मां बाप का साथ, अभी दो का इंतजार
बरेली, अमृत विचार। नासमझी में घर से भाग कर बरेली पहुंचे मासूमों को उनके परिजनों से मिलवाने का काम चाइल्ड हेल्पलाइन सिटी और रेलवे की टीम कर रही है। एक महीने में 23 बच्चे विभिन्न शहरों से यहां आए, उनमें से 21 बच्चों को उनके परिजनों से मिलवाया। जबकि दो बच्चों को अभी अपनों का इंतजार है।
जिला प्रोबेशन अधिकारी मोनिका राणा के निर्देशन में दोनों टीमें कार्य कर रही हैं। प्रोजेक्ट कोऑर्डिनेटर सौरव गंगवार ने बताया कि शेल्टर भेजे गए बच्चों में एक बच्चे के जीजा उसे लेने आए थे, मगर पर माता- पिता कि उपस्थिति न होने के कारण बच्चे को उनके सुपुर्द नहीं किया गया। परिजनों से संपर्क किया मगर वे बच्चे को लेने नहीं आए। एक लड़की 15 साल की मिली थी, उसे नारी निकेतन भेजा गया है। उसके माता-पिता का पता नहीं चल पाया है। कुल 34 मामले सामने आए थे।
माता- पिता से मिलकर खुश हुए बच्चे
पीलीभीत निवासी 9 साल का बच्चा परिजनों से नाराज होकर घर से भागकर बरेली आ पहुंचा था। चाइल्ड हेल्पलाइन टीम ने बच्चे को बाल कल्याण समिति के समक्ष पेश किया। दो दिन मंगलवार को बच्चा पिता के सुपुर्द कर दिया गया। वहीं, देवरिया निवासी 10 वर्षीय बालक ट्रेन में बैठकर बरेली आ गया। बुधवार सुबह बच्चे को उसकी मां के साथ उसके घर भेज दिया गया। इस दौरान बच्चे परिजनों से मिले तो उनके चेहरे खिल उठे।
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