रायबरेली में एकतरफा है चुनाव, बोले सचिन पायलट, रिकॉर्ड वोट से जीतेंगे राहुल गांधी

Amrit Vichar Network
Published By Jagat Mishra
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रायबरेली, अमृत विचार। पूरे देश की नजरें इस लोकसभा चुनाव में रायबरेली सीट पर लगी हैं, इस सीट पर जहाँ इंडिया गठबंधन से राहुल गांधी चुनाव लड़ रहे हैं तो वहीं भाजपा ने दिनेश प्रताप सिंह को टिकट दिया है। मंगलवार को कांग्रेस नेता सचिन पायलट रायबरेली पहुंचे जहाँ उन्होंने बड़ा बयान दिया है। उन्होंने कहा कि रायबरेली में एकतरफा चुनाव है, राहुल गांधी यहां रिकॉर्ड मतों से जीतेंगे। कांग्रेस नेता ने कहा कि भाजपा पूरी ताकत और संसाधन लगा रही है, सत्ता का दुरुपयोग हो रहा है। यहां सिंगल, डबल दोनों इंजन लगे हैं लेकिन कोई काम नहीं आ रहा। जाति, धर्म से ऊपर उठकर यह चुनाव है, रायबरेली के लोग राहुल गांधी को आशीर्वाद देने के लिए उत्सुक हैं और वे उन्हें भारी मतों से जिताएंगे। गौरतलब है कि यूपी में समाजवादी पार्टी कांग्रेस को पूरा सपोर्ट कर रही है और इस वजह से भी रायबरेली में राहुल गांधी की बड़ी जीत के कयास लोग लगा रहे हैं। 

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बताते चलें कि समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने अपने कार्यकर्ताओं को हिदायत दी है कि उत्तर प्रदेश में जिन लोकसभा सीटों पर सहयोगी कांग्रेस चुनाव लड़ रही है वहां वो यह मानकर पूरी ताकत लगाएं कि अपनी पार्टी का उम्मीदवार ही चुनावी मैदान में हैं। उनकी यह हिदायत रायबरेली और अमेठी में जमीनी स्तर पर काम करती नजर आ रही है क्योंकि कांग्रेस के चुनावी कार्यक्रमों में लाल टोपी पहने सपा समर्थक बड़ी संख्या में मौजूद रहते हैं। 

वर्ष 2017 के विधानसभा चुनाव में सपा-कांग्रेस गठबंधन भले ही परवान चढ़ने में नाकाम रहा हो, लेकिन अमेठी और रायबरेली की हाई-प्रोफाइल सीटों पर दोनों दलों के कार्यकर्ता जीत सुनिश्चित करने के लिए जमीन पर एक टीम के रूप में काम कर रहे हैं ताकि दो निर्वाचन क्षेत्रों में ‘‘इंडिया’’ गठबंधन के उम्मीदवार की जीत सुनश्चित हो सके। 

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इससे इतर कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने अमेठी और रायबरेली में जोरदार प्रचार अभियान चलाया है और नुक्कड़ सभाओं और रैलियों को संबोधित किया है। इन कार्यक्रमों की विशेषता लाल टोपी पहने सपा कार्यकर्ताओं की उपस्थिति रहती है। कई नेताओं ने 2017 के गठबंधन की जल्दबाजी को जमीनी स्तर तक नहीं पहुंच पाने और गठबंधन के कागजों पर ही रह जाने के लिए जिम्मेदार ठहराया, लेकिन यहां सपा और कांग्रेस कार्यकर्ताओं का कहना है कि इस बार मामला अलग है। 

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