मुरादाबाद : समावेशी प्रगति की दिशा में महत्वपूर्ण कदम है बजट, कृषि-उद्योग, स्वास्थ्य और शिक्षा क्षेत्र में किए महत्वपूर्ण सुधार
मुरादाबाद। हिंदू कॉलेज की प्रोफेसर (अर्थशास्त्र विभाग) डा. प्रियांशा सिंह ने कहा कि केंद्रीय बजट 2025 आर्थिक विकास और समावेशी प्रगति की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। 1 फरवरी 2025 को वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने संसद में केंद्रीय बजट 2025-26 पेश किया। यह बजट भारत की आर्थिक वृद्धि को गति देने, बुनियादी ढांचे को मजबूत करने, रोजगार सृजन और सामाजिक कल्याण को बढ़ावा देने पर केंद्रित है। इसमें करदाताओं को राहत देने के साथ-साथ कृषि, उद्योग, स्वास्थ्य और शिक्षा क्षेत्रों में महत्वपूर्ण सुधार किए गए हैं।
आयकर नीति में बहु प्रतीक्षित परिवर्तन कर मध्यम वर्ग को बड़ी राहत दी गई है। आयकरदाताओं को राहत देते हुए शून्य कर सीमा को 12 लाख रुपये कर दिया गया है, साथ ही नई कर व्यवस्था के तहत टैक्स स्लैब में परिवर्तन करते हुए 24 लाख रुपये से अधिक आय वालों पर 30 प्रतिशत की अधिकतम कर दर लागू होगी। जिससे मध्यम वर्ग की क्रय शक्ति में वृद्धि होगी। इस कदम से घरेलू मांग के साथ ही साथ बचत और निवेश मैं भी वृद्धि होगी जिससे आर्थिक विकास को गति मिलेगी।
बुनियादी ढांचे के विकास के लिए सरकार ने राज्यों को 1.5 लाख करोड़ रुपये का ब्याज मुक्त ऋण देने की घोषणा की है। इसमें सड़कों, रेलवे, बंदरगाहों और हवाई अड्डों के विस्तार के लिए विशेष प्रावधान किए गए हैं। अगले 10 वर्षों में 120 नए हवाई गंतव्यों को जोड़ा जाएगा,जिससे क्षेत्रीय संपर्क बेहतर होगा। उद्योग और एमएसएमई क्षेत्र को प्रोत्साहित करने के लिए 10,000 करोड़ रुपये का स्टार्टअप फंड लॉन्च किया गया है, जबकि एमएसएमई के लिए क्रेडिट गारंटी कवर को 10 करोड़ रुपये तक बढ़ाया गया है। ''मेक इन इंडिया'' और ''आत्मनिर्भर भारत'' पहल के तहत विनिर्माण क्षेत्र को मजबूत करने पर जोर दिया गया है जिससे घरेलू उद्योगों का विकास और विस्तार होगा।
किसान क्रेडिट कार्ड (केसीसी) की ऋण सीमा बढ़ाकर 5 लाख रुपये कर दी गई है, जिससे किसानों को सस्ती दरों पर ऋण उपलब्ध होगा। महिला उद्यमियों को समर्थन देने के लिए एक महिला उद्यमिता फंड स्थापित किया गया है। उज्ज्वला योजना के तहत महिलाओं को अधिक मुफ्त गैस सिलेंडर उपलब्ध कराए जाएंगे। मातृत्व लाभ योजनाओं का विस्तार किया गया है, जिससे महिलाओं की आर्थिक और सामाजिक स्थिति मजबूत होगी।
स्वास्थ्य क्षेत्र में 200 नए कैंसर सेंटर स्थापित किए जाएंगे, जबकि शिक्षा के क्षेत्र में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के लिए 500 करोड़ रुपये का निवेश किया गया है। स्वच्छ ऊर्जा के लिए 20,000 करोड़ रुपये के हरित ऊर्जा कोष की स्थापना की गई है, जिससे भारत के नवीकरणीय ऊर्जा लक्ष्यों को प्राप्त करने में मदद मिलेगी। यह एक संतुलित बजट है जो आर्थिक वृद्धि, सामाजिक कल्याण और बुनियादी ढांचे के विकास पर केंद्रित है। इससे मध्यम वर्ग, किसान, महिला उद्यमी और उद्योगों को लाभ मिलेगा, जिससे भारत की अर्थव्यवस्था को नई ऊंचाइयों तक पहुंचाने में मदद मिलेगी।
