पटना की तर्ज पर कानपुर में बनेगा गंगा पथ और रिवर फ्रंट, मॉडल देखने अधिकारियों की टीम भ्रमण करने पहुंची, बारीकियों को समझा

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Published By Deepak Shukla
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कानपुर, अमृत विचार। शहर में अटल घाट से शुक्लागंज पुल तक गंगा पथ व रिवरफ्रंट का निर्माण पटना की तर्ज पर होगा। पटना में गंगा पथ बनाने वाले बिहार सड़क पथ विकास निगम के अधिकारी शहर में निर्माण करने में मदद देंगे। मंडलायुक्त के विजयेंद्र पांडियन के निर्देश पर शनिवार को शहर से जुड़े अधिकारी पटना मॉडल को देखने पहुंचे। इस दौरान उन्होंने 20 किलोमीटर में बने गंगा पथ की बारीकियों को समझा, और जरूरी सुझाव भी लिये।  

वीआईपी रोड के समानांतर गंगा के किनारे एक अतिरिक्त सड़क मार्ग के साथ रिवर फ्रंट परियोजना प्रस्तावित है। इसी प्रकार का  पटना में गंगा पथ का निर्माण किया गया है। इस मॉडल का अध्ययन करने के लिए मंडलायुक्त के निर्देश पर समन्वयक नीरज श्रीवास्तव के साथ लोक निर्माण विभाग के अधीक्षण अभियंता अनिल कुमार, सेतु निगम के मुख्य परियोजना प्रबंधक बीके सेन, सिचाई विभाग के अधीक्षण अभियंता केपी पांडेय और केडीए के अधिकारी सयुक्त रूप से  पटना गंगा पथ का भ्रमण करने पहुंचे। भ्रमण में साथ में पटना गंगा पथ योजना का निर्माणकर्ता विभाग बिहार सड़क पथ विकास निगम  के महाप्रबंधक अरुण कुमार और अन्य अधिकारी रहे। 20 किलोमीटर में बने गंगा पथ परियोजना की निर्माण प्रक्रिया, चैलेंजेस, एनजीटी की जानकारी दी। इसके बाद बिहार राज्य सड़क पथ विकास निगम के प्रबंध निदेशक  कपिल अशोक के साथ बैठक कर दोनों शहरों के गंगा तटों की स्थितियों पर विचार- विमर्श किया गया। इसके साथ ही सुझावों का आदान -प्रदान किया गया। इस दौरान कानपुर योजना में विभागीय सहयोग मांगा। 

2013 में प्रस्तावित हुई थी योजना

कानपुर रिवर फ्रंट योजना  वर्ष 2013 में प्रथम बार प्रस्तावित हुई। इसका अध्ययन आईआईटी कानपुर ने किया। जिसका प्रस्तुतिकरण उस समय विश्व बैंक के अध्यक्ष के कानपुर भ्रमण के दौरान तत्कालीन आयुक्त शालिनी प्रसाद, उपाध्यक्ष केडीए जय श्री भोज और नीरज श्रीवास्तव ने  सीसामऊ नाले पर ही दिया। उस समय विश्वबैंक अध्यक्ष ने प्रस्ताव पर प्रसन्नता व्यक्त की और विश्व बैंक वित्त पोषण के लिये राष्ट्रीय गंगा नदी बेसिन प्राधिकरण भेजा भी गया। बाद में नमामि गंगे विभाग के गठन के बाद परिवर्तित प्रक्रिया में यह परियोजना शुरू नहीं हो सकी।

वीआईपी रोड पर दबाव होगा कम 

समन्वयक नीरज श्रीवास्तव ने बताया कि शासन गंगा रिवर फ्रंट परियोजना को प्राथमिकता पर लिये है। गंगा नदी के किनारे विकास की योजनाओं में एनजीटी के अतिरिक्त, न्यायालयों की गाइड लाइन भी जारी है। इसलिए अन्य शहरों के गंगा तट पर इस प्रकार के निर्माण प्रक्रिया का अध्ययन उपयोगी है। उन्होंने कहा कि वीआईपी रोड पर यातायात का काफी दबाव है, समानांतर सड़क निर्माण का स्थान नहीं है,  न ही रिवर फ्रंट के लिए उपयुक्त स्थान उपलब्ध है। इसके समाधान के लिये ही पटना मॉडल का निरीक्षण किया गया है।

सिक्स लेन गंगा पथ का निर्माण

बिहार सड़क पथ विकास निगम ने गंगा के किनारे नदी में सिक्स लेन सड़क गंगा पथ का निर्माण सेतु पद्धति पर प्रथम चरण में 20 किलोमीटर लंबा किया है। इसके साथ ही उसी से जोड़कर जहाँ-जहाँ जगह मिल रही हैं रिवर फ्रंट परियोजना का निर्माण करने जा रहा है। कानपुर के लिए इसकी उपयोगिता के दृष्टिगत इसकी संभावना देख कर प्रस्ताव तैयार करने के लिये आयुक्त विजयेंद्र पंडियन ने इस संयुक्त समिति  को पटना भेजा। समन्वयक नीरज श्रीवास्तव ने बताया पटना भ्रमण से पूर्व कानपुर के लिए प्रस्तावित स्थल शुक्लागंज सेतु से अटल घाट तक का बोट द्वारा भ्रमण कर संभावनाओं को भी  देखा जा चुका है।
        
सिंचाई, लोक निर्माण विभाग, सेतु निगम विभाग के अधिकारी शीघ्र कानपुर के लिए प्रस्ताव आयुक्त मंडल को देंगे, जो आवश्यक कार्रवाई के लिये शासन को भेजा जाएगा। - नीरज श्रीवास्तव, के  समन्वयक, उच्च स्तरीय संयुक्त विकास समिति

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