प्रयागराज : पुलिस स्टेशनों में महिला शौचालयों के निर्माण हेतु सचिव (गृह) से जवाब तलब
अमृत विचार, प्रयागराज । इलाहाबाद हाईकोर्ट ने उत्तर प्रदेश सरकार के अवर सचिव (गृह) को निर्देश देते हुए कहा कि प्रदेश के पुलिस स्टेशनों में महिला शौचालयों के निर्माण के लिए धन आवंटन और उठाए गए अन्य आवश्यक कदमों की विस्तृत रिपोर्ट एक हलफनामे के रूप में प्रस्तुत करें।
उक्त आदेश न्यायमूर्ति महेश चंद त्रिपाठी और न्यायमूर्ति गजेंद्र कुमार की खंडपीठ ने 6 विधि के छात्रों द्वारा दाखिल जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुए दिया है। वर्तमान याचिका में अनिवार्य रूप से महिलाओं की गोपनीयता और गरिमा को ध्यान में रखते हुए विपक्षियों को प्रयागराज जिले के पुलिस स्टेशनों में प्रसाधन सामग्री, शुद्ध पेयजल, उचित पंखे, कूड़ेदान, वाशरूम, टॉयलेट आदि जैसी बुनियादी सुविधाएं प्रदान करने का निर्देश देने की मांग की गई है।
याचिका की सुनवाई के दौरान अपर मुख्य स्थाई अधिवक्ता ने कोर्ट को बताया कि इसी तरह की कार्रवाई के लिए एक और जनहित याचिका हाईकोर्ट के समक्ष लंबित है, जिसमें सचिव (गृह) उत्तर प्रदेश द्वारा मार्च 2021 में हलफनामे के रूप में एक स्थिति रिपोर्ट दायर किया था।
वर्तमान याचिका में याचीगण के अधिवक्ता ने तर्क प्रस्तुत करते हुए कहा कि सरकारी अधिकारियों द्वारा दिए गए आश्वासन के बावजूद वर्तमान समय तक कोई महत्वपूर्ण प्रगति नहीं हुई है और अभी भी राज्य सरकार ने संबंधित पुलिस स्टेशनों में महिला शौचालय के निर्माण के लिए कोई प्रभावी कदम नहीं उठाया गया है। इस तर्क को सुनते हुए कोर्ट ने लंबित जनहित याचिका और वर्तमान मामले को एक साथ सुनवाई के लिए 17 जुलाई 2023 को सूचीबद्ध करने का निर्देश दिया है।
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