माफिया की वांटेड पत्नियां बनीं एसटीएफ के लिए चुनौती, इन इनामी महिला डॉन तक पहुंचने में नाकामयाब
राज्य ब्यूरो, लखनऊ, अमृत विचार। माफिया ही नहीं उनकी वांटेड पत्नियां भी चुनौती बनी हुई। लंबे समय से फरार इन इनामी महिला डॉन तक पहुंचने में एसटीएफ टीम नाकामयाब दिख रही है। प्रयागराज में चर्चित उमेश पाल हत्याकांड के बाद से अतीक की पत्नी शाइस्ता परवीन मोस्टवांटेड की सूची में शामिल हैं। उसकी गिरफ्तारी पर 50 हजार रूपये का इनाम घोषित है।
शाइस्ता पर इनाम की यह राशि बढ़ाकर एक लाख रुपये करने का भी प्रस्ताव है। प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) भी मनी लॉन्ड्रिंग मामले में उनके खिलाफ दो महीने पहले अदालत में आरोप पत्र दायर कर चुका है। लेकिन, उसकी गिरफ्तारी के लिए सक्रिय एसटीएफ को उसके ठिकाने के बारे में कोई ठोस सुराग नहीं मिल पाया है।
पुलिस सूत्रों के मुताबिक शाइस्ता की बाबत कभी सूचना मिलती है कि वह पांच लाख का इनामी गुड्डू मुस्लिम के साथ कहीं सुरक्षित ठिकाने पर है तो कभी गुड्डू का शागिर्द रहा बल्ली की सरपरस्ती में शरण लेने की बात कही-सुनी जा रही है। इन सबके बीच महत्वपूर्ण यह है कि ढेर सारे माफिया-दुर्दान्त अपराधियों को मिट्टी में मिलाने वाली एसटीएफ टीम उसकी परछाईं तक नहीं छू पायी है।
माफिया मुख्तार अंसारी की पत्नी आफशां अंसारी भी लंबे समय से फरार है। उसके देश छोड़कर भागने की खबरों के चलते पहले से लुक-आउट नोटिस जारी है। आफशां की गिरफ्तारी के लिए 75 हजार रुपए का इनाम घोषित किया गया है। कहा जा रहा है कि वह भी किसी सुरक्षित ठिकाने पर रहकर गैंग का संचालन कर रही है।
वहीं, अतीक के भाई अशरफ की पत्नी जैनब भी चुनौती बनी हुई हैं। हत्याकांड के बाद से वह लगातार फरारी काट रहीं हैं। इस बीच अतीक और अशरफ की बेनामी संपत्तियों को बेचने की जैनब की ओर से कोशिश किए जाने की खबरें भी आती रहीं हैं। शूटर गुड्डू मुस्लिम और अतीक के बेटे असद की मदद करने के आरोप में केंद्रीय कारागार नैनी जेल में बंद डॉ. अखलाख की पत्नी और अतीक की बहन आयशा नूरी भी पुलिस के गिरफ्त में नहीं आयीं हैं।
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