प्रयागराज : सर्व शिक्षा अभियान की धनराशि से होगा जीर्ण प्राथमिक विद्यालयों का पुनर्निर्माण
प्रयागराज, अमृत विचार। इलाहाबाद हाईकोर्ट ने प्राथमिक/ उच्च प्राथमिक विद्यालयों के जर्जर भवनों की मरम्मत के मामले में राज्य सरकार से जवाब तलब किया था, जिसके अनुपालन में मुख्य सचिव, लखनऊ ने हलफनामा दाखिल कर बताया कि जिन विद्यालयों को पुनर्निर्माण या मरम्मत की आवश्यकता है,उनके भौतिक सत्यापन, मूल्यांकन एवं ध्वस्तीकरण के लिए एक तकनीकी समिति का गठन किया गया है। भवनों का पुनर्निर्माण सर्व शिक्षा अभियान की धनराशि से कराया जाता है। वित्तीय वर्ष 2023-24 में 7,221 जीर्ण भवनों का पुनर्निर्माण कार्य पूर्ण किया गया है तथा 5,770 संस्थाओं को मरम्मत हेतु चयनित किया गया है।
बता दें कि शाहजहांपुर में प्राथमिक विद्यालयों की जर्जर अवस्था को उजागर करने वाली एक याचिका पर कोर्ट ने पिछली सुनवाई के दौरान प्रदेश सरकार के मुख्य सचिव से व्यक्तिगत हलफनामे में जानकारी मांगी थी कि प्रदेश के प्राथमिक विद्यालयों के जर्जर भवनों के रखरखाव तथा मरम्मत के संबंध में राज्य सरकार की नीति क्या है? वर्तमान सुनवाई में सचिव ने अपने हलफनामे में बताया कि प्राथमिक विद्यालय, जसरा के भवन का 17 नवंबर 2023 को खंड शिक्षा अधिकारी शाहजहांपुर तथा जिला समन्वयक (निर्माण) द्वारा संयुक्त रूप से स्थलीय निरीक्षण किया गया, जिसमें भवन जीर्ण-शीर्ण अवस्था में और मरम्मत योग्य नहीं पाया गया,तब 27 दिसंबर 2023 को जर्जर इमारत की नीलामी की गई। सबसे ऊंची बोली लगाने वाले को शीतकालीन अवकाश के दौरान ध्वस्तीकरण का काम पूरा करने का निर्देश दिया गया और पुनर्निर्माण प्रस्ताव को वित्तीय वर्ष 2024-25 के वार्षिक कार्य परियोजना में शामिल किया गया है। स्कूल में कुल 61 बच्चे हैं। मुख्य भवन से अलग एक कक्षा में कक्षा एक और दो के बच्चों हेतु शिक्षण कार्य संचालित किया जा रहा है जबकि कक्षा तीन, चार और पांच के बच्चों को 1 जनवरी 2024 से 600 मीटर दूर प्राथमिक पाठशाला,दुन्तवा, ग्राम पंचायत नत्थापुर, शाहजहांपुर में स्थानांतरित कर दिया गया है।
याची ने शाहजहांपुर के 38 विद्यालयी भवनों के पुनर्निर्माण से संबंधित प्रस्ताव भी रिकॉर्ड पर प्रस्तुत किए हैं, लेकिन जिन भवनों को ध्वस्त करने की आवश्यकता है, उनकी पहचान करने वाली तकनीकी समिति की रिपोर्ट याचिका में संलग्न नहीं की गई है। अंत में कोर्ट ने स्पष्ट किया कि राज्य के सभी प्राथमिक/उच्च प्राथमिक विद्यालयों के संबंध में एक सारणीबद्ध रूप में जानकारी निदेशक, बेसिक शिक्षा से अतिरिक्त हलफनामे में मांगी गई है। मामले की अगली सुनवाई आगामी 7 फरवरी 2024 को सुनिश्चित की गई है। उक्त आदेश कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश मनोज कुमार गुप्ता और न्यायमूर्ति क्षितिज शैलेंद्र की खंडपीठ ने चंद्रकला की याचिका पर सुनवाई करते हुए पारित किया।
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