Kanpur: 138 करोड़ से बंद किए जाएंगे गंगा में गिरते नाले, राष्ट्रीय स्वच्छ गंगा मिशन की कार्यकारी समिति की बैठक में मंजूरी
कानपुर, अमृत विचार। गंगा को प्रदूषण मुक्त करने और पुनर्जीवन के लिए राष्ट्रीय स्वच्छ गंगा मिशन (एनएमसीजी) की 61वीं कार्यकारी समिति की दिल्ली में हुई बैठक में विभिन्न शहरों के लिए 548 करोड़ रुपये की परियोजनाओं को मंजूरी दी गई। कानपुर में गंगा में गिरते 14 नालों को बंद करने के लिए 138 करोड़ रुपये की परियोजनाओं को मंजूरी दी गई। एनएमसीजी के महानिदेशक राजीव कुमार मित्तल की अध्यक्षता में हुई बैठक में कई अहम परियोजनाओं पर चर्चा हुई।
बैठक में कानपुर शहर के 14 अनटैप नालों के इंटरसेप्शन और डायवर्जन से जुड़ी एक अहम परियोजना को 138.11 करोड़ रुपये की अनुमानित लागत को मंजूरी दी गई। इस परियोजना के अंतर्गत नालों से सीधे नदी में गिरने वाले सीवेज को रोककर, उसे प्रस्तावित सीवेज पंपिंग स्टेशनों और मैनहोल्स के माध्यम से शोधन केंद्रों तक पहुंचाया जाएगा। इसमें एक वर्ष के संचालन और रखरखाव की व्यवस्था भी सुनिश्चित की गई है। कानपुर के लिए एक व्यवसाय मॉडल तैयार करने और नमामि गंगे ट्रांसफॉर्मिंग इंडियाज लाइफलाइन शीर्षक से पॉडकास्ट श्रृंखला का निर्माण किए जाने का निर्णय लिया गया।
कार्यकारी समिति ने बोट्स ऑफ द गंगा बेसिन रिवराइन एंड मेरीटाइम हेरिटेज शीर्षक वाली एक विशेष डॉक्यूमेंट्री फिल्म के निर्माण को मंजूरी दी। यह फिल्म गंगा बेसिन में सदियों से फलती-फूलती लकड़ी की पारंपरिक नाव निर्माण कला को एक नए अंदाज में प्रस्तुत करेगी। डॉक्यूमेंट्री का फोकस गंगा बेसिन में विकसित नाव निर्माण की सांस्कृतिक गहराई और ऐतिहासिक विरासत पर होगा। यह केवल नावों की बनावट की कहानी नहीं होगी, बल्कि उन कारीगरों की ज़िंदगियों का जीवंत चित्रण भी करेगी, जिनके हाथों ने इस परंपरा को पीढ़ियों से संजो कर रखा है। रामगंगा नदी मुरादाबाद से जुड़ी परियोजनाओं के लिए भी 409.93 करोड़ रुपये मंजूर किए गए।
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