बाराबंकी: बहनोई ने रची पैतृक संपत्ति हड़पने की साजिश, रिटायर्ड शिक्षक के बेटे ने दर्ज कराई रिपोर्ट

Amrit Vichar Network
Published By Deepak Mishra
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बाराबंकी, अमृत विचार। रामनगर थाना क्षेत्र में आश्रय पाकर रह रहे बहनोई ने पैतृक सम्पत्ति हड़पने की साजिश ही नही रची बल्कि कई कारनामे कर दिखाए। इनका खुलासा होने पर शिक्षक पुत्र ने जीजा समेत पूरे परिवार पर रिपोर्ट दर्ज कराई है। थाना क्षेत्र के ग्राम ढफालिनपुरवा के रहने वाले दीवानी कचहरी से सेवानिवृत्त अमरीश बाजपेई के अनुसार उनके पिता ब्रज बिहारी बाजपेई, सिटी इंटर कॉलेज में अध्यापक थे।

पारिवारिक विवाद के चलते उन्होंने अपनी पुत्री उषा देवी और उसके पति पुरुषोत्तम दीक्षित निवासी लखनऊ को कुछ समय के लिए गांव में शरण दी थी लेकिन समय के साथ पुरुषोत्तम दीक्षित ने कथित रूप से कूट रचित दस्तावेजों के माध्यम से परिवार रजिस्टर में खुद को मुखिया दर्ज करा लिया।

आरोप है कि ब्रज बिहारी बाजपेई की मृत्यु और फिर उनकी पत्नी शांति देवी के निधन के बाद जब अमरीश ने पारिवारिक संदूक की जांच की, तो उसमें रखे जेवर और दस्तावेज गायब थे। पूछताछ पर उनके भांजे प्रभात दीक्षित ने स्वीकार किया कि उसने अपनी बहन आकांक्षा दीक्षित के साथ मिलकर जेवर चोरी किए और उन्हें मौसा राकेश शुक्ला के घर छिपाया, जहां से बाद में बरामद हुए।

इसके अलावा, एक फर्जी वसीयत भी दस्तावेजों में पाई गई, जिसे अमरीश के अनुसार पुरुषोत्तम दीक्षित ने उनकी अनपढ़ मां से धोखे से बनवाया था। बाद में परिवार की साख को ध्यान में रखते हुए समझौते का प्रयास किया गया और दीक्षित परिवार को प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत बने मकान में शिफ्ट होने के लिए अंतिम मौका दिया गया, लेकिन उन्होंने शिफ्ट होने से इनकार कर दिया।

शिकायतकर्ता का आरोप है कि अब दीक्षित परिवार पूरी संपत्ति हड़पने की मंशा से महिलाओं को आगे रखकर झूठे मुकदमे में फंसाने की धमकी दे रहा है। पुलिस अधीक्षक के निर्देश व अमरीश की तहरीर पर पुलिस ने पुरुषोत्तम दीक्षित, प्रभात दीक्षित, आकांक्षा दीक्षित और उषा देवी के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज की है।

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