Kanpur: दिलचस्प है उर्सला अस्पताल की स्थापना के पीछे छिपी कहानी... ब्रिटिश ऑफिसर के बेटे ने इसलिए बनवाया था... पढ़ें
कानपुर, अमृत विचार। मुगल सम्राट शाहजहां ने अगर अपनी बेगम की याद में आगरा में ताजमहल का निर्माण कराया था, तो ब्रिटिश सरकार के ऑफिसर अल्बर्ट फ्रांसिस हॉर्समैन का बेटा अल्बर्ट हॉर्समैन भी अपनी पत्नी उर्सला से बेपनाह मोहब्बत करता था। उर्सला को हुस्न-ए-मल्लिका उपनाम तक से संबोधित किया जाता था।
अल्बर्ट हॉर्समैन का विवाह वर्ष 1921 में उर्सला के साथ हुआ था। दोनों को मोराइनी, हेनरी, जॉन और पीटर नामक चार संताने हुईं। लेकिन वर्ष 1935 में ब्रिटिश इंपीरियल एयरवेज के विमान हादसे में उर्सला की मौत हो गई। इस घटना ने अल्बर्ट हॉर्समैन और उसके छोटे भाई हेनरी हॉर्समैन को बेहद व्यथित कर दिया था।
इसी के बाद उन्होंने उर्सला की स्मृतियों को सहेजने के लिए परेड ग्राउंड के पास उनके नाम पर अस्पताल की स्थापना की। कानपुर में 26 फरवरी 1937 को उर्सला अस्पताल बनकर तैयार हुआ। आज यह कानपुर का जिला अस्पताल है। वर्ष 2010 में हॉसर्मन के पौत्र व उनकी पत्नी अस्पताल आई थीं। लेकिन इसके बाद परिवार का कोई सदस्य अभी तक नहीं आया है।
यह भी पढ़ें- Kanpur: उर्सला हॉस्पिटल में बढ़े 11 गुना बेड; फिर भी ओपीडी में लग रहा मरीजों का मेला
