कासगंज: सात दुकानों की लगी खुली बोली, चहेते आवेदनकर्ताओं को लाभ देने का आरोप

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Published By Pradeep Kumar
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कासगंज, अमृत विचार। जिला पंचायत द्वारा अशोक नगर स्थित मार्केट की सात दुकानों की शुक्रवार को खुली बोली कराई गई। अपर मुख्य अधिकारी महावीर सिंह की अध्यक्षता में बैठी कमेटी के सामने आवेदकों ने नीलामी में हिस्सा लिया। प्रक्रिया में गहमा गहमी के बीच अधिक दाम लगाने वालों को नीलामी दी गई। आवेदक कर्ताओ ने जिला पंचायत अध्यक्ष और अधिकारियों पर पैसा लेकर अपने चहेतों के नाम बोली करने का आरोप लगाया है।
 
शासन से स्वीकृति के बाद जिला पंचायत द्वारा अशोक नगर सीएचसी अस्पताल के पास बनने वाली मार्केट के लिए अध्यक्ष रत्नेश कश्यप की अनुउपस्थिति में पति बौबी कश्यप के निर्देश पर शुक्रवार को जिला पंचायत के सभागार में नीलामी प्रक्रिया आयोजित की गई। आयोजित नीलामी प्रक्रिया में एक-एक दुकान के नीलामी में आवेदकों ने हिस्सा लिया। अपर मुख्य अधिकारी महावीर सिंह की अध्यक्षता में बैठी कमेटी के सामने आवेदकों ने दुकानों की खुली बोली लगाई। अधिकारियों ने अधिक बोलीदाता के पक्ष में दुकानों की नीलामी की। दोपहर से शुरू नीलामी प्रक्रिया दोपहर बाद तक चलती रही। इसमें बड़ी संख्या में आवेदकों ने हिस्सा लिया। अपर अभियंता सुर्कीती मिश्रा  ने बताया कि नीलामी कमेटी में अपर मुख्य अधिकारी महावीर, अभियंता जेपी गौतम, पटल सहायक रामसेवक और अशनील पूंढीर, वित्तीय परामर्शदाता समेत संबंधित अधिकारी और जनप्रतिनिधि मौजूद रहे। बताया कि परिसर की दुकानें नीलाम होने से जिला पंचायत की आय बढ़ेगी। सातों दुकाने कुल एक करोड तीन लाख 37 हजार रुपए की कीमत की बोली लगी। 

हंगामें के बाद दिखाया गया सरकारी आदेश
जिला पंचायत द्वारा बोली की प्रक्रिया शुरू की गई। यह बोली की शुरुआत चार लाख 40 हजार रूपए से बोली की शुरुआत होनी थी, लेकिन बोली की शुरुआत दस लाख रूपए से शुरु की गई। इसको लेकर आवेदन कर्ताओ ने हंगामा शुरू कर दिया और सरकारी आदेश  दिखाने की जिद करने लगे। काफी जदोजहद के बाद जिला पंचायत अध्यक्ष के पति बौबी कश्यप ने सरकारी आदेश  नहीं दिखाया। बाद में गहमा गहमी के बाद आदेश को पढ़कर सुनाया गया। 

आवेदनकर्ताओं में दिखा आक्रोश
आवेदन कर्ता किशोरी लाल जाटव ने बताया कि जिला पंचायत द्वारा जिन सात दुकानों की नीलामी की गई है, वह नियम विरुद्ध है। उन्होंने बोली बोलने के लिए एक लाख रुपए की धनराशि जमा की थी, उन्हें बोली बोलने का मौका ही नहीं दिया गया और न ही दुकानों में कोई आरक्षण की छूट दी गई। पूर्व प्रधान किलोनी रफातपुर मनोज यादव ने बताया कि जिला पंचायत अध्यक्ष रत्नेश कश्यप की अनुपस्थिति में दुकानों की बोली प्रक्रिया को उनके प्रतिनिधि बॉबी कश्यप की देखरेख में संपन्न किया गया है। अपने चहेतों के नाम दुकानें कराई गईं हैं। इसकी बोली दोबारा से प्रशासनिक अधिकारियों की देखरेख में होनी चाहिए। यह बोली नियम विरुद्ध है।

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